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दिल्ली के JNU में शुरू होगा आतंकवाद रोधी कोर्स, एग्जीक्यूटिव काउंसिल ने दी मंजूरी

Deepa Sahu
3 Sep 2021 3:33 PM GMT
दिल्ली के JNU में शुरू होगा आतंकवाद रोधी कोर्स, एग्जीक्यूटिव काउंसिल ने दी मंजूरी
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दिल्ली के JNU में शुरू होगा आतंकवाद रोधी कोर्स

जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय के इंजीनियरिंग ड्यूल डिग्री प्रोग्राम में नया कोर्स 'काउंटर टेररिज्म यानि आतंकवाद रोधी' जोड़ने पर विवाद शुरू हो गया है। दरअसल इस पेपर के माध्यम से छात्रों को आतंकवाद से निपटने का तरीका पढ़ाया जाएगा। इसमें बताया जाएगा कि दुनिया में आतंकवाद को रोकने में विश्व शक्तियां क्या भूमिका निभाती हैं। इस विषय को शामिल करने पर वामपंथी संगठनों ने सवाल उठाए हैं। वे इसे हटाने की मांग कर रहे हैं।

जेएनयू स्कूल ऑफ इंटरनेशन स्टडीज के प्रोफेसर और चेयरपर्सन अरविंद कुमार के मुताबिक यह कोर्स बी-टेक करने के बाद अंतरराष्ट्रीय सबंधों में रुचि रखने वाले छात्रों के लिए है। उन्होंने कहा कि 'जिहाद' एक वैश्विक चुनौती है। ऐसे समय में जब अफगानिस्तान पर तालिबान ने कब्जा कर लिया है, तब इससे समसामयिक विषय और कोई नहीं हो सकता था, ऐसे में इसका विरोध करना बेईमानी है।
जिहाद को लेकर अलग-अलग देशों को आपसी सहयोग की जरूरत है। खासतौर पर दक्षिण एशिया के जियोपॉलिटिक्स पर इसका काफी प्रभाव है, जो लोग इसको लेकर विवाद कर रहे हैं, उन्हें ये भी देखना चाहिए कि इस विषय का हिस्सा साइबर और आर्थिक आतंकवाद को भी बनाया गया है।
इंटरेनशनल स्ट्डीज में छात्रों को आतंकवाद विषय को पढ़ाया जाएगा
जेएनयू के कुलपति प्रोफेसर एम जगदीश कुमार ने बताया कि इंजीनियरिंग की ड्यूल डिग्री प्रोग्राम में छात्रों को इंटरनेशनल रिलेशन भी पढ़ाए जाते हैं। इसी में 'काउंटर टेररिज्म' का एक नया कोर्स जोड़ा गया है। आतंकवाद से आज दुनियाभार के देश परेशान हैं। ऐसे में छात्रों को इस बारे में पढ़ाया जाना कोई गलत नहीं है। विश्वविद्यालय छात्रों को लिवरल तरीके से पढ़ाना चाहता है। इस कोर्स को विशेषज्ञों की टीम व एग्जीक्यूटिव काउंसिल में पास किया गया है। इसमें इंजीनयरिंग के छात्रों को ये पढ़ाया जाएगा कि आतंकवाद से कैसे निपटा जाए और इसमें विश्व शक्तियों की भूमिका क्या हो?
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