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यहां कोरोना वैक्सीन लगवाने के बाद लोगों के मन में है कई सवाल, हर तरफ मचा है बवाल, अब तक नहीं सुना होगा ऐसा मामला

jantaserishta.com
16 Jun 2021 7:16 AM GMT
यहां कोरोना वैक्सीन लगवाने के बाद लोगों के मन में है कई सवाल, हर तरफ मचा है बवाल, अब तक नहीं सुना होगा ऐसा मामला
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फिलहाल पुलिस जांच कर रही है.

मुंबई:- कोरोना को मात देने के लिए सरकार लोगों से टीका लगवाने की अपील कर रही है। इस अपील का असर भी दिख रहा है। इसी का फायदा कुछ बहरूपिया भी उठा रहे हैं और टीकाकरण के नाम पर लोगों को गुमराह कर रहे हैं। ऐसा ही एक ताजा मामला मुंबई के कांदिवली इलाके में सामने आया है। यहां के हीरानंदानी हेरिटेज सोसाइटी में बीते दिनों लगे कैम्प में 400 लोगों का टीकाकारण किया गया, लेकिन टीके के बाद जारी सर्टिफिकेट से वैक्सीनेशन संदेह के घेरे में आ गया है। अब लोग यह जानने में जुटे हैं कि वाकई उन्हें कोरोना का टीका लगा है या फिर कुछ और। लोगों ने स्थानीय कांदिवली पुलिस स्टेशन में लिखित शिकायत दर्ज कराई है। फिलहाल पुलिस जांच कर रही है।

इस घटना के बाद लोगों के मन में वैक्सीनेशन को लेकर शक गहरा हो गया है। ऐसे में वैक्सीनेशन को लेकर लोगों को सतर्क और जागरूक रहने की जरूरत है। अगर आपके इलाके या सोसाइटी में प्राइवेट वैक्सीनेशन कैंप लगा है तो सावधानी बरतें। लोगों का आरोप है कि उनसे प्रति व्यक्ति 1400 रूपये लेकर वैक्सीन लगाई गई है।
कांदिवली में हीरानंदानी हेरिटेज सोसाइटी में 30 मई को कैम्प में यहां के 400 लोगों को कोविशील्ड का टीका लगाया गया था। सोसायटी के निवासी हितेश पटेल ने बताया कि कैम्प में उनके बेटे का भी टीकाकरण हुआ। सोसाइटी ने महेंद्र सिंह नामक व्यक्ति को नियुक्त किया था। उसने टीकाकरण मुंबई के एक बड़े अस्पताल के मार्फत आयोजित कराने का दावा किया था। लेकिन टीकाकरण के समय ऐसा कुछ नहीं दिखा। पटेल ने बताया कि टीकाकरण के बाद जब लाभार्थियों को सर्टिफिकेट काफी दिनों तक जारी नहीं हुआ, तो सोसाइटी ने संबंधित व्यक्ति से संपर्क किया। इसके बाद जब लोगों को सर्टिफिकेट मिला तो उनके होश उड़ गए। किसी को नानावटी अस्पताल, किसी को बीएमसी के नेस्को तो किसी को वहां के शिवम अस्पताल तो किसी को अन्य अस्पताल का सर्टिफिकेट जारी हुआ। यह सभी सर्टिफिकेट एक साथ नहीं जारी हुए, बल्कि अलग-अलग दिन जारी हुए।
संबंधित व्यक्ति सोसाइटी के प्रत्येक लोगों से संपर्क कर उनके मोबाइल पर आए ओटीपी मांगकर उन्हें सर्टिफिकेट जारी कर रहा था। पटेल ने बताया कि जब नानावटी अस्पताल से संबंधित लाभार्थी को जारी सर्टिफिकेट की सत्यता जानने की कोशिश की गई, तो उन्होंने संबंधित व्यक्ति का वैक्सीनेशन उनके द्वारा नहीं किए जाने की बात कही। सच को जानने के लिए सोसाइटी ने पुलिस में लिखित शिकायत दी है।
वरिष्ठ पुलिस निरीक्षक बाबासाहेब सालुंखे ने बताया कि जिस व्यक्ति के खिलाफ शिकायत की गई है, वह फिलहाल भूमिगत है। नानावटी अस्पताल के प्रवक्ता ने बताया कि उनके अस्पताल की ओर से इस सोसाइटी में कोई भी कैम्प आयोजित नहीं किया गया है। अस्पताल ने इस संबंध में विभागों को सूचित भी किया है और जल्द पुलिस स्टेशन में शिकायत भी की जाएगी।
इस मामले में स्थानीय विधायक ने बताया कि जिस कोविशील्ड वायल का इस्तेमाल किया गया था, उसके लेबल पर नॉट फॉर सेल लिखा हुआ था। इससे यह लग रहा है कि किसी सरकारी केंद्र से यह वैक्सीन जारी हुई है। जांच में बहुत बड़ी गड़बड़ी सामने आ सकती है।
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