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नई दिल्ली: महिला एवं बाल विकास मंत्रालय देश भर में विभिन्न कार्यक्रमों के साथ 20 मार्च 2022 से 3 अप्रैल 2023 तक पांचवां पोषण पखवाड़ा मनाएगा। पखवाड़ा का उद्देश्य, जन आंदोलन और जन भागीदारी के माध्यम से पोषण के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाना और खाने की स्वस्थ आदतों को बढ़ावा देना है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा 8 मार्च 2018 को शुरू किया गया पोषण अभियान, लोगों की भागीदारी सुनिश्चित करने और पोषण पर चर्चा को मुख्य-धारा में लाने में सहायक रहा है। पोषण अभियान की शुरुआत पोषण संबंधी परिणामों में समग्र रूप से सुधार लाने के उद्देश्य से की गयी थी। कुपोषण-मुक्त भारत के वांछित लक्ष्यों को प्राप्त करने का एक महत्वपूर्ण घटक है- व्यक्तिगत और सामुदायिक स्तर पर व्यवहार परिवर्तन।
पोषण पखवाड़ा प्रत्येक वर्ष मार्च के महीने में 15 दिनों तक मनाया जाता है। इसी तरह, सितंबर के महीने को, पूरे देश में राष्ट्रीय पोषण माह के रूप में मनाया जाता है। अब तक मनाए गए पोषण माह और पखवाड़ा में; सभी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों, अग्रिम पंक्ति की संस्थाओं, मंत्रालयों के साथ-साथ आम लोगों की व्यापक भागीदारी देखी गयी है। पोषण पखवाड़ा, 2022 में देश भर में करीब 2.96 करोड़ कार्यक्रम आयोजित किये गए थे।
पोषण पखवाड़ा 2023 की थीम है- "सभी के लिए पोषण: एक साथ, स्वस्थ भारत की ओर।" 2023 को अंतर्राष्ट्रीय मोटे अनाज वर्ष के रूप में घोषित होने के साथ, इस वर्ष पोषण पखवाड़ा का केंद्र-बिंदु, कुपोषण को दूर करने के लिए एक मूल्यवान संपत्ति के रूप में 'श्री अन्न' -जिसे सभी अनाजों की जननी कहा जाता है- को लोकप्रिय बनाने पर होगा।
पोषण पखवाड़ा के दौरान आयोजित होने वाले कार्यक्रम, अन्य बातों के साथ-साथ, निम्नलिखित प्रमुख विषयों पर ध्यान केंद्रित करेंगे:
1. मोटे अनाज आधारित खाद्य पदार्थों को पूरक पोषण से जोड़ने, घर-घर तक पहुँचने, आहार परामर्श शिविर आदि के आयोजन के माध्यम से पोषण-कल्याण के लिए श्री अन्न/मोटे अनाज को बढ़ावा देना और इन्हें लोकप्रिय बनाना।
2. स्वस्थ बालक प्रतिस्पर्धा समारोह: अच्छे पोषण, अच्छे स्वास्थ्य और तंदुरूस्ती के लिए प्रतिस्पर्धा की स्वस्थ भावना पैदा करके परिभाषित मानकों के अनुरूप 'स्वस्थ बालक' की पहचान करना और इसका उत्सव मनाना
3. सक्षम आंगनवाड़ियों को लोकप्रिय बनाना: आंगनवाड़ियों को लोकप्रिय बनाने और जागरूकता बढ़ाने के लिए अभियान चलाए जाएंगे, इसके लिए आंगनवाड़ियों को बेहतर पोषण, प्रारंभिक बचपन की देखभाल और शिक्षा के केंद्रों के रूप में उन्नत अवसंरचना और सुविधाओं के साथ सक्षम किया जाएगा।
महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, पोषण पखवाड़ा के दौरान कार्यक्रमों के समन्वय के लिए नोडल मंत्रालय होगा। राज्य/केंद्र शासित प्रदेश में महिला एवं बाल विकास विभाग/समाज कल्याण विभाग पोषण पखवाड़ा के लिए नोडल विभाग होंगे।
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