उत्तराखंड में मंगलवार को मौसम ने फिर करवट बदली। दोपहर को देहरादून में झमाझम बारिश हुई। वहीं, मौसम विभाग के अनुसार, सभी जिलों में गरज के साथ बारिश की संभावना है। खासकर देहरादून, पौड़ी, चंपावत, नैनीताल और ऊधमसिंह नगर जिलों में आंधी के साथ तेज बारिश हो सकती है। वहीं, प्रदेशभर में आज सुबह से ही बादल छाए हैं। मसूरी में घने बादल के साथ ही कोहरा भी छाया हुआ है।
प्रदेश में 211 सड़कें बंद
मौसम ने साथ दिया तो लोनिवि सहित दूसरी एजेंसियों ने एक दिन पहले बंद तीन राष्ट्रीय राजमार्गों सहित तमाम राज्य और जिला मार्गों को खोलने में कामयाबी पाई, लेकिन ग्रामीण सड़कों का नंबर देर से आने के चलते अब भी 190 सड़कें बंद हैं। सोमवार को प्रदेश में कुल 211 सड़कें बंद रहीं। लोनिवि की ओर से जारी बुलेटिन के अनुसार, प्रदेश में नौ राज्य स्तरीय मार्ग, नौ जिला मुख्य मार्ग, तीन अन्य जिला मार्ग, 83 ग्रामीण सड़कें और 107 पीएमजीएसवाई की सड़कें बंद हो गईं। सड़कों को खोलने के काम में 240 जेसीबी मशीनों को लगाया था। इस दौरान कुल 74 सड़कों को खोलने में कामयाबी मिली। जबकि 68 सड़कें सोमवार को बंद हुई। 143 सड़कें एक दिन पहले से ही बंद थीं। इधर, प्रमुख सचिव लोनिवि आरके सुधांशु ने बताया कि शासन स्तर पर बंद सड़कों की लगातार समीक्षा की जा रही है। बंद मार्गों को खोलने के लिए अधिकारियों को त्वरित कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए हैं। इस दौरान जहां तमाम अधिकारी-कर्मचारियों की छुट्टियों पर रोक लगाई गई है, वहीं खास हिदायत दी गई है, यदि काम में लापरवाही पाई गई तो किसी को भी बख्सा नहीं जाएगा।
यमुनोत्री क्षेत्र के राना गांव में घुसा पानी
यमुनोत्री क्षेत्र से लगे राना गांव में सड़क का मलबा और पानी लोगों के घरों के आंगन तक पहुंच गया। पानी देखकर ग्रामीणों ने रात जागकर गुजारी। केदार सिंह चौहान का आवासीय मकान मलबे की चपेट में आने से परिवार सहित रातभर बाहर रहे। ग्रामीणों ने राना चट्टी दागुड़गांव निषणी निर्माणाधीन सड़क के ठेकेदार व विभाग को जिम्मेदार ठहराया है। इस गांव में पहले भी कई बार मलबा आ चुका है। उधर, बारिश के कारण वन्य जीव विहार के नैटवाड़ बैरियर के पास करीब 25 मीटर हिस्सा ध्वस्त हो गया। मोटर मार्ग के बंद होने से गोविंद वन्य जीव विहार क्षेत्र के 42 गांव का तहसील मुख्यालय से संपर्क कट गया है। वहीं, भारी मलबा आने से सड़क पर खड़ा एक वाहन भी मलबे में दब गया।
कोटद्वार में मकान हुआ ध्वस्त
कोटद्वार के सनेहा भाबर के रतनपुर गांव में आज सुबह हुई भारी बारिश से बहेड़ा स्रोत उफान पर रहा। जिससे बड़े पैमाने पर भूस्खलन होने से भवनों को क्षति हुई एक मकान पूरी तरह से ध्वस्त हो गया और कई को खतरा बना हुआ है। सूचना मिलते ही तहसील प्रशासन एसडीएम तहसीलदार और राजस्व विभाग के कर्मचारी मौके पर पहुंचे उन्होंने मौका मुआयना किया और अपनी रिपोर्ट जिला प्रशासन को भेज दी है।