उत्तराखंड

Uttarakhand: मदमहेश्वर धाम का होगा विकास, मां गौरी मंदिर का होगा सौंदर्यीकरण

Gulabi Jagat
7 Sep 2024 3:24 PM GMT
Uttarakhand: मदमहेश्वर धाम का होगा विकास, मां गौरी मंदिर का होगा सौंदर्यीकरण
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Dehradun देहरादून: श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी हरीश गौड़ ने शनिवार को बताया कि उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की घोषणा के क्रम में पंच केदारों में द्वितीय केदार मद्महेश्वर धाम का विकास किया जाएगा तथा इसके साथ ही केदारनाथ धाम के अंतिम मोटर पड़ाव गौरीकुंड स्थित मां गौरी के मंदिर का भी सौंदर्यीकरण किया जाएगा। उन्होंने बताया कि शासन के धर्मस्व एवं संस्कृति विभाग के अवर सचिव रमेश सिंह रावत ने इस संबंध में संस्कृति विभाग के निदेशक को अलग से आदेश जारी किए हैं। आदेशों में मुख्यमंत्री की घोषणा के क्रम में मद्महेश्वर धाम के विकास तथा गौरीकुंड स्थित मां गौरी मंदिर के सौंदर्यीकरण के लिए कार्यदायी संस्था से विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं। आदेश में लोक निर्माण विभाग को कार्यान्वयन एजेंसी नामित किया गया है तथा श्री बद्रीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति (बीकेटीसी) के साथ समन्वय करके डीपीआर तैयार करने को कहा गया है।
उधर, बीकेटीसी के अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने मद्महेश्वर धाम के विकास और मां गौरी मंदिर के सौंदर्यीकरण की योजना को मंजूरी देने पर सीएम पुष्कर सिंह धामी का आभार जताया है । उन्होंने कहा कि मद्महेश्वर धाम के विकास की योजना से वहां श्रद्धालुओं और तीर्थयात्रियों की संख्या में बढ़ोतरी होगी। इससे क्षेत्रीय लोगों के लिए रोजगार के नए अवसर खुलेंगे। गौरतलब है कि 3497 मीटर की ऊंचाई पर स्थित मद्महेश्वर धाम रुद्रप्रयाग जिले के ऊखीमठ विकासखंड में स्थित है। मद्महेश्वर पहुंचने के लिए श्रद्धालुओं को करीब 14 किमी की पैदल दूरी तय करनी पड़ती है। मद्महेश्वर धाम को पंच केदारों में से द्वितीय केदार के रूप में मान्यता प्राप्त है। यहां भगवान शिव के नाभि स्वरूप की पूजा की जाती है। मंदिर का प्रबंधन बीकेटीसी देखता है। इसी तरह मां गौरी का मंदिर केदारनाथ धाम के अंतिम मोटर स्टेशन गौरीकुंड में स्थित है। इसका प्रबंधन भी बीकेटीसी के पास है। (एएनआई)
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