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रानीखेत, ग्राम पंचायत उरोली में बाघ के आतंक से दहशत फैली हुई है। सभी ग्रामीण घरों में ही दुबके हुए हैं। ग्रामीणों ने अपने मवेशियों को भी गौशाला में ही रखा है। वन प्रभाग की टीमों ने क्षेत्र में गश्त तेज कर दी है। ग्रामीणों ने वन विभाग से क्षेत्र में पिंजरा लगाने की मांग की गई है।
ग्रामीणों का कहना है कि बीते 3 अगस्त से क्षेत्र में लगातार बाघ के हमले रुकने का नाम नहीं ले रहा है। ग्रामीणों ने बताया है कि बाघ और बाघिन के साथ उनके 4 शावक भी हैं जिनको राजकीय प्राथमिक विद्यालय उरोली एवं जूनियर हाईस्कूल उरोली के समीप लगातार देखा जा रहा है तथा यह बकरी सहित अन्य मवेशियों का लगातार शिकार कर रहा है। तथा बाघ पालतू पशुओं को घायल भी कर चुका हैं। ग्रामीण खेती, काम-धाम सब छोड़ घरों में रहने का मजबूर हैं। लोगों का कहना है कि बाघ की दहशत की वजह से बच्चों को स्कूल भेजने में भी डर लग रहे हैं तथा बच्चों की जान पर खतरा बना हुआ है। ऐसे में वन विभाग ने ग्रामीणों से सतर्कता बरतने की अपील की है।
विनीता बोरा, ग्राम प्रधान, पंचायत उरोली ने बताया कि जल्द से जल्द बाघ बाघिन के आतंक से क्षेत्रवासियों को मुक्त कराया जाये ताकि ग्रामीण अपनी रोजमर्रा की दिनचर्या को भली प्रकार कर सकें। प्रशासन द्वारा ग्रामीणों की सुरक्षा की उचित व्यवस्था की जानी चाहिए। ग्राम प्रधान द्वारा ब्लॉक शिक्षा अधिकारी डी०एल०आर्या को भी बाघ के आतंक से स्कूल जाने वाले बच्चों की सुरक्षा के दृष्टिगत उचित निर्णय लेने का निवेदन किया है।
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