उत्तराखंड

इंश्योरेंस कंपनी को 10.15 लाख मय ब्याज भुगतान का आदेश

Admin Delhi 1
19 Jan 2023 1:11 PM GMT
इंश्योरेंस कंपनी को 10.15 लाख मय ब्याज भुगतान का आदेश
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काशीपुर: जिला उपभोक्ता फोरम ने वाहन चोरी के बीमा क्लेम के लिए वाहन ट्रांसफर की सूचना न देने के आधार पर खारिज करना गलत मानते हुए बीमा कंपनी को उपभोक्ता को 10 लाख 15 हजार का भुगतान का आदेश दिया है। राज्य आयोग ने इस निर्णय व आदेश को बिल्कुल सही मानते हुए उसकी पुष्टि कर दी है। काशीपुर के जमील अहमद और मुशर्रफ की ओर से अधिवक्ता नदीम उद्दीन एडवोकेट के माध्यम से जिला उपभोक्ता फोरम में परिवाद दायर किया था।

जमील अहमद ने अपने ट्रक का बीमा एक इंश्योरेंस कंपनी की काशीपुर शाखा कार्यालय से करवाया। जो 31 अक्टूबर 2014 से 30 अक्टूबर 2015 तक वैध था। 27 नवंबर 2014 को जमील अहमद ने अपना बीमित ट्रक मुशर्रफ को बेच दिया। जिसे संबंधित परिवहन अधिकारी के अभिलेखों में दर्ज कर दिया। जिसकी प्रति 28 नवंबर 2018 को जब प्राप्त हुई तो बीमा कम्पनी का कार्यालय बंद हो चुका था।

29 व 30 नवंबर को कंपनी का कार्यालय बंद था। इस कारण वाहन हस्तांतरण की सूचना नहीं दी जा सकी। इन्हीं दिनों काशीपुर से ट्रक चोरी हो गया। वाहन नहीं मिलने पर इसकी रिपोर्ट कोतवाली काशीपुर में दर्ज करायी। वाहन नहीं मिलने पर पुलिस ने अपर मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट काशीपुर के न्यायालय में अंतिम रिपोर्ट प्रस्तुत की। जिसे न्यायालय ने स्वीकार कर लिया। परिवादी ने बीमा कंपनी को चोरी की सूचना दी। जिस पर कंपनी के अधिकारी व सर्वेयर ने घटनास्थल का सर्वे किया और इससे संबंधित कागजातों की प्रतियां प्राप्त की। जब बीमा कंपनी द्वारा क्लेम की धनराशि नहीं दी गई तब सूचना का अधिकार के अन्तर्गत सूचना मांगी गयी।

जिसमें कम्पनी ने बताया कि वाहन हस्तांतरण की सूचना परिवादी द्वारा नहीं दी गयी, इसलिए क्लेम निरस्त किया गया। परिवादी ने अपने वकील के के माध्यम से नोटिस भिजवाया। कोई कार्यवाही नहीं होने पर उपभोक्ता फोरम में परिवाद दायर किया। जिला उपभोक्ता फोरम ने निर्णय दिया कि वाहन बीमित था और इसी अवधि में चोरी हुआ। जिला उपभोक्ता फोरम ने बीमा कंपनी को बीमित वाहन की धनराशि दस लाख सात प्रतिशत साधारण ब्याज जो परिवाद दायर करने की तिथि 16 फरवरी 2017 से वास्तविक भुगतान की तिथि तक देय होगा का भुगतान एक माह के अंदर करने का आदेश दिया।

साथ ही मानसिक क्षति के 10 हजार और वाद व्यय के पांच हजार रुपये का भी भुगतान करने का आदेश दिया है। बीमा कंपनी ने इस आदेश के विरुद्ध राज्य उपभोक्ता आयोग को अपील की गई। जिसमें राज्य उपभोक्ता आयोग के अध्यक्ष जस्टिस डीएस त्रिपाठी और सदस्य उदय सिंह टोलिया की पीठ ने अपने निर्णय में 14 दिन के अंदर वाहन चोरी होने पर वाहन पॉलिसी ट्रांसफर न होने के आधार पर बीमा क्लेम निरस्त करने को गलत मानने के जिला उपभोक्ता फोरम के आदेश को पूर्णतः सही माना।

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