नैनीताल न्यूज़: उत्तराखंड इंसानियत मंच की बैठक में सांगठनिक ढांचे में विस्तार करने और साम्प्रदायिक माहौल बिगाड़ने के प्रयासों का डटकर विरोध करने का फैसला लिया गया. हाल की घटनाओं में जिन लोगों के नाम बार-बार सामने आए हैं, उनकी गिरफ्तारी की मांग को लेकर पुलिस और प्रशासनिक अधिकारियों मिलने का भी फैसला लिया गया.
उत्तराखंड महिला मंच की अध्यक्ष कमला पंत की अध्यक्षता में हुई बैठक में मंच के संयोजक प्रो. रवि चोपड़ा ने मंच के पिछले एक वर्ष के कार्यों का ब्योरा दिया. उन्होंने कहा कि मंच ने कई गतिविधियों का आयोजन किया, लेकिन कई अन्य जरूरी काम नहीं किए. उन्होंने कहा कि देहरादून और उत्तराखंड में हाल में हुई साम्प्रदायिक घटनाओं को देखते हुए अब न सिर्फ संगठन का विस्तार करने और विभिन्न जगहों पर संगठन बनाने की जरूरत है, बल्कि मंच के शांति दल में विस्तार करने और छोटी-छोटी घटनाओं को साम्प्रदायिक रंग देने के प्रयासों के असलियत सामने लाने की भी जरूरत है. एडवोकेट चंद्रकला के नेतृत्व में वकीलों की टीम और एडवोकेट हरबीर सिंह कुशवाहा के नेतृत्व के फैक्ट फाइंडिंग टीम का गठन करने का फैसला किया गया. स्वतंत्र पत्रकार त्रिलोचन भट्ट फैक्ट फाइंडिंग टीम के स्थाई सदस्य होंगे. मंच से जुड़ी दो महिलाएं भी इस टीम में शामिल होंगी. यह टीम साम्प्रदायिक तनाव के मामलों में मौके पर जाकर फैक्ट जुटाएगी. नौ अगस्त को भारत छोड़ो आंदोलन की वर्षगांठ के मौके पर सद्भावना समिति और अन्य संगठनों के साथ दून में कार्यक्रम होंगे.
इस मौके पर निर्मला बिष्ट, उमा भट्ट, पद्मा गुप्ता, पूरन बर्त्वाल, बिजू नेगी, नसीमा, दिगम्बर, सविता मोहन, दीपा कौशलम, लताफत हुसैन, सुशील सैनी, तुषार रावत, भगवान रावत, जितेन्द्र कुमार गुप्ता, आरिफ खान, कैलाश नौडियाल आदि मौजूद रहे.