आदेश के बावजूद पूरा जुर्माना जमा नहीं कर रहे अधिकारी
देहरादून न्यूज़: उत्तराखंड सूचना आयोग अपने गठन से लेकर लोक सूचना अधिकारियों पर दो करोड़ छियासठ लाख पन्द्रह हजार एक सौ पैंतीस रुपए का जुर्माना लगा चुका है. लेकिन इसमें से महज बायनवें लाख, 67 हजार, 668 रुपये ही राजकीय कोष में जमा हो पाए हैं.
मेहूंवाला निवासी आरटीआई कार्यकर्ता मोहम्मद आशिक की ओर से लगाई गई, आरटीआई के जवाब में यह जानकारी सामने आई है. जवाब में आयोग ने बताया कि सूचना आयोग गठन के बाद से कुल 1922 अपीलों में लोक सूचना अधिकारियों पर कुल 2,66,15,135 रुपये का जुर्माना लगाया जा चुका है. इसमें से 1,06,43,567 रुपये लोक सूचना अधिकारियों द्वारा जमा नही किये गए है. इसके अलावा 67,03,900 मूल्य का जुर्माना हाईकोर्ट नैनीताल में चल रहे रिट याचिकाओं के अधीन है. मोहम्मद आशिक ने कहा कि इतनी बड़ी मात्रा में जुर्माना जमा नहीं किए जाने से साफ है कि लोक सूचना अधिकारी, सूचना के अधिकार को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं. इसके लिए राज्य सरकार को सख्ती दिखानी होगी.
स्वास्थ्य प्राधिकरण के अध्यक्ष कोटिया ने दिया इस्तीफा
राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण के अध्यक्ष डीके कोटिया ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने को स्वास्थ्य मंत्री डॉ धन सिंह रावत और मुख्य सचिव डॉ एसएस संधु को इस्तीफा भेजा.
राज्य में आयुष्मान योजना लागू करते समय सरकार ने उन्हें राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण का अध्यक्ष नियुक्त किया था. पांच लाख रुपये के निशुल्क इलाज की इस योजना को कोटिया ने धरातल पर उतारने में अहम भूमिका निभाई. इस योजना में गड़बड़ी करने वालों के खिलाफ भी कोटिया ने कड़ा रुख अपनाया.
कोटिया की नियुक्ति पांच साल के लिए हुई थी लेकिन उन्होंने कार्यकाल समाप्त होने से पांच महीने पहले ही अपने पद से इस्तीफा दे दिया है