उत्तराखंड
किच्छा : नशामुक्ति केंद्र में संदिग्ध परिस्थितियों में युवक की मौत
Bhumika Sahu
13 July 2022 3:00 PM GMT
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नशामुक्ति केंद्र
जनता से रिश्ता वेबडेस्क। किच्छा, पुलभट्टा थाना अंतर्गत सिरौली क्षेत्र के एक नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती युवक की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई। पुलिस ने शव कब्जे में लेकर पंचनामा भरते हुए पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। युवक की मौत से परिजनों में कोहराम मच गया है।
जानकारी के अनुसार थाना पंतनगर के जवाहर नगर निवासी जगदीश चंद्र सुयाल ने अपने 35 वर्षीय पुत्र भुवन सिंह को नशे का आदी होने के चलते करीब एक सप्ताह पूर्व पुलभट्टा थाना अंतर्गत सिरौली के नई रोशनी एजुकेशन नशा मुक्ति पुनर्वास केंद्र में भर्ती कराया था। बताया जा रहा है कि बुधवार की सुबह पुनर्वास केंद्र में भुवन की तबीयत अचानक खराब हो गई, जिसके बाद उसे नगर स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में उपचार के लिए भर्ती कराया गया।
जहां चिकित्सकों ने जांच के बाद भुवन को मृत घोषित कर दिया। भुवन की मौत की सूचना पर परिजन भी सीएचसी पहुंच गए। सीएचसी में परिजनों ने जोरदार हंगामा करते हुए नशा मुक्ति केंद्र के प्रबंधक पर उपचार में लापरवाही किए जाने का आरोप लगाया। परिजनों ने आरोप लगाया कि सुबह करीब 3 बजे भुवन की तबीयत खराब होने के बाद भी केंद्र प्रबंधक द्वारा उसे उपचार देने में लापरवाही की गई, जिसके चलते उसकी हालत लगातार बिगड़ती चली गई।
परिजनों का कहना था कि अगर सही समय पर भुवन को उपचार मिल जाता तो उसकी जान बचाई जा सकती थी। नशा मुक्ति केंद्र के डायरेक्टर अनवार अहमद ने आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि सुबह लगभग 7 बजे भुवन की तबीयत खराब होने के बाद उसे उपचार के लिए सरकारी अस्पताल ले जाया गया था, जहां चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया। सीएससी में हंगामे की सूचना पर पहुंची पुलिस ने भुवन के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
पुलभट्टा थाने पहुंचे परिजनों सहित तमाम लोगों ने थाना प्रभारी विद्यादत्त जोशी से मामले की निष्पक्ष जांच कर भुवन की मौत के लिए जिम्मेदार केंद्र प्रभारी पर कार्यवाही किए जाने की मांग की। थाना प्रभारी जोशी ने परिजनों को शांत कराते हुए कहा कि पीएम रिपोर्ट मिलने के बाद आगे कार्यवाही की जाएगी।
किच्छा। नशा मुक्ति केंद्र में भुवन की संदिग्ध मौत के मामले में मृतक की पत्नी भावना सुयाल ने पुलभट्टा थाना पुलिस को दी तहरीर में बताया कि 6 जुलाई की रात्रि 10 बजे नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती कराया था। अगले दिन संचालकों के कहने पर उन्होंने भुवन का सामान तथा 2000 रुपए की धनराशि भी जमा करा दी थी। उन्होंने कहा कि भुवन की सीसीटीवी फुटेज देखने की इच्छा जाहिर की तो संचालकों ने बहाना बना दिया तथा एक कुर्सी पर बैठे हुए व्यक्ति की तस्वीर उन्हें सेंड कर दी।
पीड़िता ने आरोप लगाया कि उनके द्वारा कई बार संचालकों से पति से मिलाने का आग्रह किया गया लेकिन उन्हें मिलने नहीं दिया। बुधवार सुबह 8 बजे नशा मुक्ति केंद्र से फोन कर यह जानकारी दी गई कि तड़के 3 बजे से उनके पति का स्वास्थ्य खराब चल रहा है तथा उन्हें डॉक्टर से दवाई ले कर दी गई है। महिला ने आरोप लगाया कि तबीयत खराब होने के बावजूद उन्हें सूचित नहीं किया गया और भुवन की मौत के बाद उन्हें जानकारी दी गई।
आरोप लगाया कि भुवन की मौत का कारण पूछने पर प्रबंधक द्वारा अपशब्दों का प्रयोग करते हुए धमकाया गया। उन्होंने पुलिस प्रशासन से केंद्र प्रभारी के खिलाफ कार्यवाही किए जाने की मांग की है।
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