मजदूर किसानों का किसान महापंचायत का आयोजन 26 अप्रैल को पंतनगर में
मांगों को लेकर मजदूर किसानों ने शासन-प्रशासन पर उपेक्षा करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि शासन-प्रशासन और न्यायपालिका उद्योगपतियों के इशारों पर काम कर रही है। इसके चलते हैं मजदूर किसानों को उनका हक नहीं मिल पा रहा है। मजबूरन मजदूर किसानों को किसान महापंचायत का आयोजन करना पड़ रहा है। इस महापंचायत में किसान मजदूरों के आंदोलन की रणनीति तैयार की जाएगी। प्रेस क्लब हरिद्वार के सभागार में पत्रकारों से वार्ता करते हुए इंटार्क मजदूर संगठन, सिडकुल पंतनगर के संयोजक मंत्री राजेंद्र रामेश्वर दयाल पटेल ने बताया कि इंटार्क मजदूर संगठन सिडकुल, पंतनगर एवं संयुक्त संघर्ष एल ट्रेड यूनियन मोर्चा हरिद्वार 26 अप्रैल को किसान महापंचायत का आयोजन करने जा रहा है। जिसमें प्रदेश के करीब 10 हजार किसान, मजदूर के शामिल होने की संभावना है। खास बात यह कि किसान महापंचायत में संयुक्त किसान मोर्चा के वरिष्ठ नेता चौधरी राकेश टिकैत और गुरनाम सिंह चन्नी के साथ अन्य राष्ट्रीय स्तर के नेता भी शामिल हो रहे हैं।
उन्होंने बताया कि किसान महापंचायत का मुख्य उद्देश्य इंटार्क कंपनी की तालाबंदी खत्म करना, इंटार्क, कारोलिया, लुकास, टीवीएस के मजदूरों को न्याय दिलाना, ठेका प्रथा खत्म करना, स्थाई काम पर स्थाई रोजगार एवं नियमानुसार बोनस, न्यूनतम वेतन व ओवरटाइम का डबल भुगतान करने से संबंधित कानून को लागू कराना एवं न्यूनतम वेतनमान 25 हजार करने के साथ मजदूर किसानों के मुकदमों को वापस कराना है। उन्होंने कहा कि सभी कानूनों को सख्ती से लागू कराने को लेकर महापंचायत में व्यापक आंदोलन की रणनीति भी बनाई जाएगी। इस मौके पर संयुक्त संघर्ष सिल्क ट्रेड यूनियन मोर्चा के संयोजक गोविंद सिंह ने कहा कि हरिद्वार से भी बड़ी संख्या में मजदूर महापंचायत में भाग लेने जा रहे हैं।
इस मौके पर राजकिशोर, देवेंद्र सिंह, विजय नारायण सिंह, सुशील कुमार, अवधेश, महिपाल, चंद्रेश, राम लखन, धीरेंद्र, बृजमोहन, सोनू कुमार, रामेश्वर दयाल और नरेंद्र मणि त्रिपाठी सहित अन्य लोग मौजूद रहे।