उत्तराखंड
देहरादून जिले का हाल, नलों में पानी आए बिना ही लोगों के घर पहुंच रहे बिल, करोड़ों हुए खर्च
Renuka Sahu
19 Dec 2021 11:02 AM GMT
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फाइल फोटो
देहरादून शहर से सटे रायपुर ब्लॉक के द्वारा धारकोट क्षेत्र में नलों में पानी आए बिना ही लोगों के घर बिल पहुंच रहे हैं।
जनता से रिश्ता वेबडेस्क । देहरादून शहर से सटे रायपुर ब्लॉक के द्वारा धारकोट क्षेत्र में नलों में पानी आए बिना ही लोगों के घर बिल पहुंच रहे हैं। एक करोड़ रुपये की लागत से पेयजल लाइनें भी बिछाई गई हैं। घरों में नल भी लगे हैं, लेकिन पानी नहीं पहुंचा। शनिवार को जिला पंचायत की बोर्ड बैठक में यह मुद्दा खूब गर्माया। बोर्ड बैठक में विकास कार्यों के लिए करीब 130 करोड़ का बजट पारित किया गया।
शनिवार को गांधी रोड स्थित जिला पंचायत सभागार में अध्यक्ष मधु चौहान की अध्यक्षता में बोर्ड बैठक आयोजित हुई। इसमें पेयजल, विद्युत, स्वास्थ्य, सड़क, शिक्षा, पेंशन समेत संबंधित कार्यों की समीक्षा की गई। रायपुर ब्लॉक के द्वारा सीट से जिला पंचायत सदस्य अश्वनी बहुगुणा ने हर घर जल योजना पर सवाल खड़े करते हुए मुद्दा उठाया कि उनके क्षेत्र में नलों में बिना पानी आये ही बिल भेजे जा रहे हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि विभाग नाकामी छिपाने के लिए पानी का टैंकर भेज रहा है। मुद्दा उठने पर जिला पंचायत अध्यक्ष मधु चौहान ने जल संस्थान, पेयजल निगम को जिला पंचायत सदस्य के साथ संयुक्त निरीक्षण करने को कहा है।
बैठक में मनरेगा के तहत देहरदून जिले के लिए वर्ष 2022-23 के लिए 58 करोड़ रुपये का बजट पास किया गया, जबकि अन्य विकास कार्यों के लिए 72 करोड़ का बजट पारित किया गया है। पिछले साल यह बजट 71 करोड़ था। इस साल एक करोड़ रुपये की बढ़ोतरी की गई है। पिछले साल खर्च हुए 71 करोड़ रुपये के बजट का हिसाब भी बैठक में पेश किया गया। इससे पहले बैठक की शुरुआत में सीडीएस बिपिन रावत और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष उपं विधायक हरबंस कपूर को श्रद्धांजलि के साथ हुई। बैठक में उपाध्यक्ष श्याम सिंह पुंडीर, संतोषी, रामपाल, मदनपाल, मीरा जोशी, दिव्या बेलवाल, गीता तोमर, गीता देवी, गीता चौहान, दयावती, धीरज, अंजू देवी, प्रशांत कुमार जैन, पूजा रावत, राजेश बलूनी, रंजिता, खेमलता, अश्वनी बहुगुणा, बीर सिंह, टीना सिंह, अनिता आदि मौजूद रहे।
जिले के अधिकारी नहीं पहुंचने पर जिला पंचायत सदस्य भड़के
देहरादून। बोर्ड बैठक में जिला स्तर के अधिकारी नहीं पहुंचने पर जिला पंचायत सदस्यों ने नाराजगी जताई। बैठक में जिला प्रशासन की ओर से अधिकारी नहीं थे, न ही सिंचाई विभाग की ओर से अधिकारी आए थे। सिंचाई विभाग के खिलाफ बैठक में निंदा प्रस्ताव भी पारित किया गया। बैठक शुरू होते ही विभागवार समीक्षा होने लगी तो सदस्यों ने बैठक में जिलाधिकारी, सीडीओ के न होने पर सवाल खड़े कर दिए। जिला पंचायत सदस्य अश्वनी बहुगुणा के अलावा अन्य सदस्यों ने इसको लेकर आपत्ति जताई। उनका कहना था कि न ही जिलाधिकारी पहुंचे हैं, और न ही सीडीओ, एसडीएम या फिर तहसीलदार। ऐसे में अपनी समस्याओं को किसे बताया जाए। कई सदस्य जिलाधिकारी के नाम का ज्ञापत तक लेकर पहुंचे थे। इस संबंध में पूछे जाने पर सीडीओ नीतिका खंडेलवाल ने बताया कि विधानसभा की चुनाव की ड्यूटी और रायपुर ब्लॉक में चल रही चुनाव प्रक्रिया के कारण अधिकारी बैठक में नहीं पहुंच सकें। उधर अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत राजीव कुमार त्रिपाठी ने बताया कि सिंचाई विभाग के खिलाफ निंदा प्रस्ताव पारित किया गया है। कई विभाग शिक्षा, स्वास्थ्य, पशुपालन समेत अन्य विभागों के जिलास्तर के अधिकारी से न आने के लिए कारण पूछा जा रहा है।
एंबुलेंस चालक कर रही मनमानी
देहरादून। जिला पंचायत सदस्या राजेश बलूनी ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में एंबुलेंस चालकों की अस्पताल से साठगांठ है। मरीजों को महंगे और ऐसे अस्पतालों में छोड़ा जाता है, जहां उपचार नहीं मिलता है। कुछ देर रखने के बाद उन्हें रेफर कर दिया जाता है। उन्होंने आरोप लगाया कि इसके लिए एंबुलेंस वालों को मोठा कमीशन दिया जाता है। जिला पंचायत सदस्यों ने 108 एंबुलेंस के वाहन चालक पर भी मनमानी करने का आरोप लगाया है। इस पर अध्यक्ष मधु चौहान ने एंबुलेंस की कार्यप्रणाली के जांच के निर्देश दिए। उधर स्वास्थ्य विभाग की ओर से आये एनएचएम के एसीएमओ सीएस रावत ने बताया कि मामले की जांच कराई जाएगी। ऐसा पाये जाने पर एंबुलेंस के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
कार्यों में तेजी लाएं अफसर : मधु
देहरादून। आचार संहिता से पहले हुई बैठक में जिला पंचायत अध्यक्ष मधु चौहान ने सभी विभागों को निर्देशित किया कि विकास कार्यों और सरकार की विभिन्न योजनाओं के क्रियान्वयन में विभाग तेजी दिखायें। उन्होंने जिला पंचायत सदस्यों द्वारा विभिन्न विभागों में विकास कार्यों संबंधित दिए जाने वाले आवेदनों को गंभीरता से और प्राथमिकता में लेते हुए उन पर समय से कार्यवाही पूर्ण करने को कहा।
2017 से नहीं मिला मुआवजा, लोगों ने छोड़ दी खेती
देहरादून। हरिपुर कलां रायवाला की जिला पंचायत सदस्य दिव्या बेलवाल ने आरोप लगाया कि वर्ष 2017 से उनके क्षेत्र में हाथी की ओर से की गई फसल के नुकसान का मुआवजा नहीं मिला है। उन्होंने बताया कि करीब 45 परिवारों है, जिन्हें अभी तक मुआवजा नहीं मिला है। वर्ष 2017 से ऐसा हो रहा है। उन्होंने कहा कि इसी कारण से कई परिवारों ने खेती करना तक छोड़ दिया है।
एक करोड़ का एस्टीमेट काम एक रुपये का नहीं
देहरादून। बैठक में जिला पंचायत सदस्यों ने अपने ओर से दी गई प्रस्तावों पर काम न होने पर आपत्ति जताई। अध्यक्ष के सामने जिला पंचायत सदस्य ने कहा कि एक करोड़ रुपये का एस्टीमेट उनके प्रस्तावों पर तैयार किया गया था। दो साल बीत जाने पर जिला योजना से एक रुपये का काम नहीं हुआ है। इस पर अध्यक्ष मधु चौहान ने जवाब देते हुए बताया कि कोरोना के कारण पिछले सालों में जिला प्रभारी और जिलाधिकारी की ओर से प्रस्ताव लिए गए थे।
Renuka Sahu
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