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कृषि कानूनों से ना करें तुलना-सीएम धामी
उत्तराखंड (Uttarakhand) में चारधाम देवस्थानम बोर्ड (Devasthanam Board) को लेकर उत्तराखंड की पुष्कर सिंह धामी (Pushkar Singh Dhami) सरकार मुसीबत में है. क्योंकि बोर्ड को लेकर राज्य के पुरोहित लगातार अपना विरोध जता रहे हैं और उन्होंने राज्य में होने वाले चुनाव में बीजेपी के खिलाफ दूसरे दलों को समर्थन देने का ऐलान किया है. बीजेपी मान रही है कि राज्य में पुरोहितों के विरोध के कारण उसे सियासी तौर पर नुकसान हो सकता है. लिहाजा अब धामी सरकार पर जल्द से जल्द फैसला करना चाहती है. वहीं राज्य सरकार द्वारा गठित हाई पावर कमेटी ने अपनी अंतिम रिपोर्ट शासन को सौंप दी है. वहीं कहा जा रहा है कि राज्य सरकार जल्द ही इस पर फैसला कर सकती है और इसके लिए सीएम धामी दिल्ली जाकर बीजेपी आलाकमान से बात करेंगे.
राज्य में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले धामी सरकार पुरोहितों की मांग पर फैसला कर सकती है. राज्य में कांग्रेस पुरोहितों की मांग का समर्थन कर रही और उसका कहना है कि राज्य में कांग्रेस सरकार बनने के बाद बोर्ड को खत्म कर दिया जाएगा. वहीं चर्चा है कि राज्य सरकार पुरोहितों को खुश करने के लिए बोर्ड को भंग करने का फैसला कर सकता है. असल में राज्य के तत्कालीन बीजेपी सरकार के सीएम त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने बोर्ड के गठन का फैसला किया था और जिसके बाद उन्हें आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था. बताया जाता है कि रावत की कुर्सी जाने के पीछे बड़ी वजह देवस्थानम बोर्ड भी था.
कृषि कानूनों से ना करें तुलना-सीएम धामी
वहीं मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि केंद्र ने तीन कृषि कानून वापस ले लिए हैं, लेकिन इसकी तुलना देवस्थानम बोर्ड से नहीं की जानी चाहिए. सरकार ने देवस्थानम बोर्ड को लेकर हाई पावर कमेटी का गठन कियाथा और कमेटी की जिम्मेदारी सभी पक्षों को सुननी थी. अब कमेटी ने अंतिम रिपोर्ट सौंप दी है और सरकार सरकार सभी पक्षों को ध्यान में रखकर इस मामले में फैसला लेगी.
सीएम धामी आज जाएंगे दिल्ली
जानकारी के मुताबिक राज्य के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी शनिवार को दिल्ली जाएंगे. इससे पहले वे बागेश्वर जाएंगे. वहीं वह दिल्ली के उत्तराखंड सदन में रूककर रात में राजधानी देहरादून लौट जाएंगे. बताया जा रहा है कि अपनी दिल्ली यात्रा के दौरान सीएम धामी बीजेपी के बड़े नेताओं से भी मुलाकात कर सकते हैं.
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