उत्तराखंड

पर्वतीय क्षेत्रों में सतर्क रहने की सलाह, तीन दिन भारी वर्षा की चेतावनी

Gulabi Jagat
18 July 2022 10:05 AM GMT
पर्वतीय क्षेत्रों में सतर्क रहने की सलाह, तीन दिन भारी वर्षा की चेतावनी
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आपदा प्रबंधन
Uttarakhand Weather : उत्तराखंड मौसम विभाग ने आज रात से प्रदेश के सात जिलों में भारी वर्षा की संभावना जताई है। इस दौरान कहीं-कहीं भारी से अत्यंत भारी वर्षा को लेकर रेड अलर्ट जारी किया गया है। अन्य जिलों में भी तेज बौछार पड़ने के आसार हैं। इस दौरान पर्वतीय क्षेत्रों में सफर और नदी-नालों से दूर रहने की सलाह दी गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सभी जिलाधिकारियों को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं। जिलों में नियंत्रण कक्ष को भी सक्रिय रहने को कहा गया है।
सोमवार रात से प्रदेशभर में घने बादल डाल सकते हैं डेरा
सोमवार सुबह देहरादून सहित अधिकतर इलाकों में मौसम साफ बना हुआ है। वहीं मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह के अनुसार, सोमवार रात से प्रदेशभर में घने बादल डेरा डाल सकते हैं। जिसके बाद अगले तीन दिन देहरादून, टिहरी, पौड़ी, नैनीताल, चंपावत, ऊधमसिंह नगर और हरिद्वार में भारी से अत्यंत भारी वर्षा हो सकती है। इसको लेकर रेड अलर्ट जारी किया गया है।
आपदा प्रबंधन की दृष्टि से हर स्तर पर रखें सतर्कता: धामी
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रदेश में मौसम विभाग द्वारा दी गई चेतावनी को देखते हुए सभी मंडलायुक्त व जिलाधिकारियों को आपदा से संबंधित किसी भी चुनौती से निपटने के लिए हर समय तैयार रहने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि आपदा प्रबंधन की दृष्टि से हर स्तर पर सतर्कता रखी जाए। सभी विभाग आपसी समन्वय के साथ कार्य करें।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि सभी संवेदनशील स्थानों पर जिओ टैगिंग के साथ जेसीबी मशीनों को हर समय तैयार रखा जाए। आपदा संबंधित स्थानों पर इनकी पर्याप्त व्यवस्था की जाए। उन्होंने कहा कि जिलों में एसडीआरएफ व एनडीआरएफ के दल तैनात किए गए हैं, ताकि आपदा की स्थिति में राहत व बचाव कार्य तेजी से चलाए जा सकें।
उन्होंने पर्यटकों व आमजन से अपील की है कि भारी वर्षा की संभावना को देखते हुए नदियों व बरसाती नालों की तरफ न जाएं। उन्होंने कहा कि वर्षाकाल में अत्यधिक वर्षा की संभावना को देखते हुए राज्य के पर्वतीय जिलों में 69 खाद्य गोदाम चिह्नित किए गए हैं। इनमें तीन माह यानी अगस्त तक का खाद्यान्न भेज दिया गया। उन्होंने कहा कि लोक निर्माण विभाग ने वर्षाकाल में बंद मार्गों को खोलने के लिए विभिन्न मार्गों पर 396 जेसीबी तैनात की हैं।
उत्तराखंड जल संस्थान द्वारा कंट्रोल रूम की स्थापना की गई है। आपदा की स्थिति में पेयजल उपलब्ध कराने को 71 टैंकर उपलब्ध हैं एवं किराये पर 219 टैंकर चिह्नित किए गए हैं। उत्तराखंड पावर कारपोरेशन द्वारा निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए पूरी व्यवस्था की गई है। चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने सभी जिलों में 24 घंटे उपचार के लिए सारी व्यवस्था की हुई है। दुर्गम स्थानों पर दूर संचार के लिए सेटेलाइट फोन की व्यवस्था की गई है।
जुलाई के पहले पखवाड़े में पर्वतीय जिलों में जमकर बरसे मेघ
पर्वतीय जिलों में जुलाई के पहले पखवाड़े में मेघ जमकर बरसे। ज्यादातर पर्वतीय जिलों में डेढ़ से ढाई गुना तक अधिक वर्षा दर्ज की गई। हालांकि, मैदानी इलाकों में देहरादून को छोड़ सभी क्षेत्रों में सामान्य से कम वर्षा हुई। दून में भी वर्षा सामान्य के आसपास रही। इस दौरान चंपावत में सबसे कम और बागेश्वर में सर्वाधिक वर्षा रिकार्ड की गई।
उत्तराखंड में ग्रीमष्मकाल में लगभग सूखे जैसे हालात रहे। इसके बाद प्री-मानसून सीजन में कुछ बौछारों ने राहत दी, लेकिन वर्षा सामान्य से कम ही रही। अब मानसून के दस्तक देने के बाद सामान्य वर्षा की उम्मीद लगाई जा रही है। लेकिन, जुलाई के पहले पखवाड़े में वर्षा का क्रम अनियमित रहा। कुछ पर्वतीय जिलों में सामान्य से काफी अधिक वर्षा हुई।
वहीं, मैदानी क्षेत्रों में वर्षा सामान्य से कम रही। इसमें भी नैनीताल, हरिद्वार और ऊधमसिंह नगर में बेहद कम वर्षा रिकार्ड की गई। केवल देहरादून, रुद्रप्रयाग, पौड़ी गढ़वाल, और अल्मोड़ा में ही वर्षा सामान्य के करीब रही। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार, जुलाई के दूसरे पखवाड़े में वर्षा का क्रम तेज हो सकता है। खासकर पर्वतीय जिलों में अधिक वर्षा होने के आसार हैं।
जुलाई में अब तक वर्षा की स्थिति
अधिक वर्षा वाले जिले
जिला, वास्तविक, सामान्य, अंतर
बागेश्वर, 498, 152, 228
चमोली, 274, 138, 99
उत्तरकाशी, 263, 206, 28
टिहरी, 191, 162, 18
कम वर्षा वाले जिले
जिला, वास्तविक, सामान्य, अंतर
चंपावत, 72, 263, -73
नैनीताल, 90, 335, -73
हरिद्वार, 93, 178, -48
ऊधमसिंह नगर, 128, 218, -41
देहरादून, 219, 276, -21
पिथौरागढ़, 234, 289, -19
रुद्रप्रयाग, 233, 277, -16
अल्मोड़ा, 137, 152, -10
पौड़ी, 156, 211, -26
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