पहाड़ों में लगातार हो रही बारिश के कारण भूस्खलन की घटनाएं बढ़ गई हैं। रुद्रप्रयाग के दूरस्थ बुढ़ना गांव में बारिश के बाद हुए भूस्खलन से एक गौशाला ध्वस्त हो गई और 4 मवेशी मलबे में जिंदा दफन हो गए। केदारनाथ हाईवे 4 स्थानों पर बंद है। केदारनाथ हाईवे के जगह-जगह बंद होने से केदारनाथ धाम से आने-जाने वाले तीर्थ यात्री भी फंसे हुए हैं।
पहाड़ों में अब बारिश के बाद भूस्खलन होने की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में भूस्खलन की घटनाएं अधिक हो रही हैं। जिले के दूरस्थ गांव बुढ़ना में बारिश के बाद हुए भूस्खलन के कारण एक गौशाला ध्वस्त हो गई और गौशाला के अंदर बंधे चार मवेशी मलबे में जिंदा दफन हो गए। गौशाला से मलबा हटाने का कार्य जारी है। यहां डीडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीमें मौके पर तैनात हैं। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नंदन सिंह रजवार ने बताया कि बुढ़ना गांव में गौशाला ध्वस्त होने की सूचना मिलने के बाद तुरंत डीडीआरएफ की टीम को रवाना किया गया। डीडीआरएफ की टीम रेस्क्यू कार्य में जुटी हुई है।
बारिश के कारण केदारनाथ हाईवे पर भी जगह-जगह भूस्खलन हो रहा है। हाईवे रामपुर, सिल्ली, बांसबाड़ा, मुनकटिया आदि स्थानों पर सुबह से बंद है। यहां केदारनाथ धाम से आने-जाने वाले तीर्थ यात्री फंसे हुए हैं। फिलहाल सभी स्थानों पर जेसीबी मशीनों के जरिए हाईवे को खोलने का कार्य जारी है। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी नन्दन सिंह रजवार ने बताया कि जगह-जगह भूस्खलन होने के कारण बंद केदारनाथ हाईवे को खोलने का कार्य किया जा रहा है। कुछ स्थानों पर राजमार्ग को खोल दिया गया है, जबकि रामपुर में भारी मात्रा में मलबा आया है, जिसे हटाने का कार्य जारी है।