उत्तर प्रदेश

उत्तर-प्रदेश: नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी, सफाई कर्मचारी निलंबित

Kajal Dubey
15 July 2022 9:17 AM GMT
उत्तर-प्रदेश: नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी, सफाई कर्मचारी निलंबित
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गोरखपुर नगर निगम के कुछ सफाई कर्मचारियों की धांधली सामने आई है । एक स्थायी सफाई कर्मचारी पर नौकरी दिलाने के नाम पर रुपये की वसूली करने का आरोप है। वहीं संविदा पर तैनात कुछ सफाई कर्मचारियों द्वारा बिना काम किए ही वेतन लेने का मामला सामने आया है। स्थायी सफाई कर्मचारी को निलंबित कर दिया गया है। जबकि संविदा कर्मियों को बर्खास्त कर दिया गया है।
नगर निगम के स्वास्थ्य विभाग में कार्यरत रमेश पर जंगल कौड़िया की अमहवा निवासी यशोदा से नौकरी दिलाने के नाम पर 15 हजार रुपये लेने का आरोप है। प्रथम दृष्टया दोषी पाते हुए नगर आयुक्त अविनाश सिंह ने तत्काल प्रभाव से रमेश को निलंबित कर दिया। साथ ही विभागीय कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है। प्रकरण की जांच उप नगर आयुक्त संजय शुक्ला को दी गई है।
वहीं, स्थायी सफाई कर्मचारी सदरुन की तैनाती वार्ड संख्या पांच में है। इन लोगों पर बिना काम किए फर्जी तरीके से वेतन लेने का आरोप है। जांच में दोषी पाए जाने पर नगर आयुक्त ने सदरुन को निलंबित कर दिया है और मामले की जांच अपर नगर आयुक्त दुर्गेश मिश्रा को दी है। सीएलसी कर्मचारी कयामुद्दीन और मेठ राकेश यादव भी फर्जी तरीके से वेतन निकालने के दोषी पाए गए हैं। नगर आयुक्त ने राकेश यादव को सेवा से बर्खास्त कर दिया है।
नगर आयुक्त ने फर्जी तरीके से वेतन निकाले जाने के मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय कमेटी गठित की है। इसमें अपर नगर आयुक्त दुर्गेश मिश्रा, उप नगर आयुक्त संजय शुक्ला और सहायक नगर आयुक्त डॉ. मणिभूषण तिवारी को शामिल किया गया है।
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