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बड़ी खबर
आगरा। डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय की बीएएमएस परीक्षा की कॉपियां बदलने के मामले में अब पुलिस हैंड राइटिंग मैच कराएगी। इसके लिए विधि विज्ञान प्रयोगशाला में कॉपियां भेजी जाएंगी। पुलिस दो दिन पहले पकडे़ गए आरोपी पुनीत की हैंड राइटिंग बदली गई कॉपियों से मैच कराएगी। वहीं, पुलिस और एसटीएफ अभी तक आरोपी छात्र नेता को पकड़ नहीं पाई है। बीएएमएस कॉपी प्रकरण में थाना हरीपर्वत पुलिस ने दो मुकदमे दर्ज किए हैं। पुलिस अभी तक आरोपी टैंपो चालक देवेंद्र और फिरोजाबाद के डा. अतुल यादव को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। पूछताछ में छात्र नेता राहुल पाराशन, जौनपुर के दुर्गेश ठाकुर व कासगंज निवासी पुनीत का नाम सामने आया था। दुर्गेश और पुनीत को शुक्रवार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था। पूछताछ में आरोपियों ने पुलिस को बताया कि पुनीत कॉपियां लिखता था, जबकि दुर्गेश छात्रों को तैयार करता था।
पुलिस को जांच में जो 14 कॉपियां मिलीं थीं, अब इन कॉपियों की हैंड राइटिंग का मिलान पुनीत की राइटिंग से किया जाएगा। इसके लिए विधि विज्ञान प्रयोगशाला की रिपोर्ट ली जाएगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले की जांच यूपी एसटीएफ को सौंपी। जांच के करीब तीन सप्ताह बाद भी एसटीएफ और पुलिस अभी तक मुख्य आरोपी छात्र नेता राहुल पाराशर को नहीं पकड़ पाई है। राहुल की गिरफ्तारी के लिए कई जगह पर दबिश दी गई है, लेकिन अभी तक वो हाथ नहीं लग सका है। इसके अलावा जांच में रंजीत, जयंत और अशरफ के नाम भी सामने आए हैं। राहुल और रंजीत की एजेंसी में सांठगांठ रहती थी। वो पुनीत और उसके साथियों की मदद से लिखी हुई कॉपियों को जमा करवाते थे। एसटीएफ बीएएमएस कॉपी प्रकरण के साथ एसटीएफ विवि में हुए भ्रष्टाचार की भी जांच कर रही है। इस जांच में पिछले 20 साल के भ्रष्टाचार और शिकायतों को शामिल किया गया है। विवि के करीब 40 कर्मचारी और अधिकारी एसटीएफ की रडार पर हैं। कई पूर्व कर्मचारी भी जांच की जद में आ सकते हैं।
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