उत्तर प्रदेश

पानी का खुलेआम दोहन कर रहे आरओ प्लांट संचालक

Admin Delhi 1
3 Aug 2023 7:12 AM GMT
पानी का खुलेआम दोहन कर रहे आरओ प्लांट संचालक
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प्रतापगढ़ न्यूज़: जिले के अधिकतर विकास खंडों का जलस्तर लगातार नीचे जा रहा है. प्रशासन जलस्तर सुधारने का लगातार प्रयास कर रहा है. दूसरी ओर जिले में अवैध तरीके से संचालित 167 आरओ प्लांट संचालक खुलेआम पानी का दोहन कर रहे हैं, जिस पर रोक लगाने की कभी पहल ही नहीं की गई. नतीजा जिले का नीचे खिसकते जलस्तर से पेयजल संकट गहराता जा रहा है.

जलदोहन से बेल्हा का जलस्तर मानक से नीचे चला गया था. ऐसे में भूजल गर्भ जल विभाग की ओर से जिले के 12 विकास खंड डार्क जोन घोषित कर दिए गए थे. जलस्तर सुधारने के लिए प्रशासन की ओर से तालाबों का निर्माण कराने, चेकडैम का निर्माण सहित कई तरह से बरसात का पानी रोकने की कवायद की गई. इस पर प्रशासन ने करोड़ों रुपये खर्च किए, जिससे वर्तमान में जिले के आठ विकास खंड क्रिटिकल से सेमी क्रिटिकल जोन में पहुंच सके हैं. अभी प्रशासन की ओर से लगातार जलदोहन रोकने के लिए लोगों को जागरूक किया जा रहा है. प्रशासन के सभी निर्देश व मानक को दरकिनार कर जिले में संचालित अवैध आरओ प्लांट संचालक धड़ल्ले से पानी बरबाद कर रहे हैं.

जलदोहन से बढ़ती जा रही समस्या

लघु सिंचाई विभाग के एई विक्रमाजीत ने बताया कि आरओ प्लांट संचालक जिस तरह से जलदोहन कर रहे हैं, इससे आने वाले समय में पानी का संकट बढ़ सकता है. दरअसल जिले का जलस्तर पहले ही सामान्य से नीचे है. ऐसे में जलदोहन रोकने के प्रयास नहीं किए गए तो समस्या बढ़ सकती है.

100 में से 80 लीटर बरबाद हो रहा पानी

जिले में संचालित अवैध आरओ प्लांट में पानी को फिल्टर करने के नाम जलदोहन किया जा रहा है. विशेषज्ञों के मुताबिक आरओ प्लांट में फिल्टर करने के नाम पर 100 लीटर में से 80 लीटर पानी बरबाद कर दिया जाता है जबकि 20 लीटर पानी को शुद्ध बताया जाता है.

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