उत्तर प्रदेश

छुड़वाया बीआईसी का 50 करोड़ का बंगला

Admin4
29 July 2022 4:04 PM GMT
छुड़वाया बीआईसी का 50 करोड़ का बंगला
x

कपड़ा मंत्रालय के दखल के बाद शुक्रवार को आखिरकार बिल्डर समीर अग्रवाल के कब्जे से 50 करोड़ की लागत का बीआईसी का मेफील्ड बंगला खाली करा लिया गया। कर्नलगंज-ग्वालटोली पुलिस ने भारी फोर्स की देखरेख में बीआईसी की सम्पत्ति कमेटी को बंगले का ताला तोड़ कर कब्जा दिलाया। कमेटी ने सभी 14 कमरों और हाल में अपना ताला लगा दिया है। बिल्डर और उसका स्टॉफ नदारद रहा।

कमिश्नर आवास के सामने की रोड पर स्थित मेफील्ड बंगला (2358 वर्गमीटर, 10/ 463 खलासी लाइन ) पर बीआईसी को 38 साल बाद कब्जा मिला। बीआईसी-एनटीसी सम्पत्तियों से कब्जा हटाने को लेकर कपड़ा मंत्रालय सख्त हो गया है।

मंत्रालय ने बीते महीने ही इसी बंगले को लेकर शासन से लेकर पुलिस कमिश्नर तक प्रस्ताव दिया था कि पुलिस बल की देखरेख में कब्जा दिलाया जाए। जिसे मंजूर कर बुलडोजर तक उपलब्ध कराने के आदेश कर दिए गए हैं। उसी कड़ी में दोपहर में कर्नलगंज-ग्वालटोली पुलिस भारी फोर्स के साथ मेफील्ड पहुंची।

यहां पर बीआईसी की कमेटी के अधिकारी एसके उपाध्याय, मनीष शुक्ल, पीके सिंह, आरवी सिंह, एसएस रावत ने पुलिस को चेयरमैन का पत्र सौंपा, जिसके बाद दोनों गेटों पर बिल्डर का ताला तोड़ दिया गया। फिर कमरों के ताले तोड़े जाते रहे और कमेटी को कब्जे दिलाए जाते रहे।

बंगले से जुड़ा है विवाद

बीआईसी के पूर्व अधिकारियों की देन से बंगले में 15 साल से शादी के आयोजन हो रहे थे। बकायदा पंडाल लगाकर किराए पर शादी और अन्य आयोजनों के लिए दिया जाता रहा। इससे बिल्डर लाखों रुपए की कमाई कर रहा था लेकिन बीआईसी को एक रुपए भी नहीं मिल रहा था।

2017 में असम युवती से रेप की कोशिश

इसी बंगले में साल 2017 में असम की युवती से रेप की कोशिश की घटना हुई थी। युवती ने ग्वालटोली थाने में एफआईआर भी दर्ज कराई थी जिसमें दो लोगों को गिरफ्तार भी किया गया था।


Next Story