उत्तर प्रदेश

सीसीएसयू की पूर्व प्रतिकुलपति के मानदेय पर राजभवन ने मानी गलती

Admin Delhi 1
27 Dec 2022 10:48 AM GMT
सीसीएसयू की पूर्व प्रतिकुलपति के मानदेय पर राजभवन ने मानी गलती
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मेरठ न्यूज़: चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की पूर्व प्रतिकुलपति के मानदेय को लेकर मचे बवाल और उनके वेतन से कटौती करने के आदेश के बाद राजभवन के विशेष कार्याधिकारी ने पत्र लिखकर कुलपति को पत्र लिखकर सूचित किया है कि टाइपिंग में गड़बड़ी के कारण प्रो. वाई विमला को 4 हजार रुपये प्रति माह मानदेय की जगह 48 हजार रुपये टाइप हो गया था।

राज्यपाल के विशेष कार्याधिकारी डा. पंकज एल जानी ने कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला को लिखे पत्र में कहा है कि प्रतिकुलपति के रूप में दिये गए मानदेय में गड़बड़ी को लेकर वसूली की जो बात की गई थी, उसमें टाइपिंग के दौरान गलती हो गई थी। कहा गया कि पत्र की तीसरी पंक्ति में 20 दिसंबर 2018 से 29 दिसंबर 2019 तक प्रतिकुलपति को मानदेय के रूप में 48 हजार रुपये देना दर्शाया गया है जो सही नहीं है।

प्रति कुलपति 48 हजार रुपये प्रति माह के बजाय चार हजार रुपये प्रति माह ले रहीं थी। विशेष कार्याधिकारी के पहले पत्र ने विवि में हड़कंप मचा दिया था। प्रति कुलपति को जो मानदेय मिल रहा था, उसकी संस्तुति कार्य परिषद और वित्त समिति ने की थी।

राजभवन ने प्रो. वाई विमला के बाद सर छोटू राम इंजीनियरिंग कालेज की निदेशक और गणित विभागाध्यक्ष प्रो. जयमाला के मानदेय पर भी सवाल उठाते हुए शासनादेश का उल्लंघन बताते हुए कार्रवाई के निर्देश दिए है। प्रो. वाई विमला के मुद्दे ने विवि में हलचल पैदा कर दी थी और हर कोई राजभवन के पत्र को लेकर चर्चाओं में लग गया था। छात्र नेताओं ने भी इसे मुद्दा बनाकर धरना प्रदर्शन तक कर दिया था।

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