उत्तर प्रदेश

Prayagraj: नगर विकास मंत्री ने स्वच्छता महाभियान में झाडू लगाकर किया श्रमदान

Admindelhi1
31 Dec 2024 5:13 AM GMT
Prayagraj: नगर विकास मंत्री ने स्वच्छता महाभियान में झाडू लगाकर किया श्रमदान
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लखनऊ: उत्तर प्रदेश के नगर विकास एवं ऊर्जा मंत्री ए.के शर्मा सोमवार को महाकुंभ तीर्थ क्षेत्र तथा प्रयागराज शहर के सभी 100 वार्डों में उत्कृष्ट स्तर की साफ सफाई, स्वच्छता व व्यवस्थापन के लिए चलाए जा रहे महासफाई अभियान को और गति देने तथा कुंभ तीर्थ क्षेत्र को अलौकिक व अमृतमय बनाने के लिए नागवासुकी मंदिर के कुनकुन श्रीवाला गली से दशाश्वमेघ घाट तक एवं अशोक नगर स्थित दुर्गा पूजा पार्क तक चलाए गए सामूहिक स्वच्छता कार्यक्रम में प्रतिभाग कर तथा स्वयं अपने हाथों से झाड़ू लगाकर और कूड़ा उठाकर सफाई में श्रमदान किया। उन्होंने नगर के सम्मानित नागरिकों के घर-घर जाकर स्वच्छता का संदेश दिया, जिससे कि कुंभ तीर्थ के दौरान पूरी दुनिया के सामने तीर्थराज प्रयाग को एक आदर्श नगर के रूप में प्रस्तुत किया जा सके। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार कुंभ तीर्थ मेला क्षेत्र में आने वाले सभी श्रद्धालुओं और तीर्थयात्रियों को सुरक्षित, स्वच्छ और पवित्र माहौल देने के लिए संकल्पित है।

उन्होंने कहा कि तीर्थराज प्रयागराज को 3500 सफाई मित्रों के योगदान से स्वच्छ सुंदर बनाने का कार्य किया जा रहा। मेला क्षेत्र को स्वच्छ बनाये रखने के लिए 5000 डस्टबिन रखवाए गए हैं, डेढ़ लाख शौचालय, चेजिंग रूम आदि बनवाए गए है। सड़क किनारे की दीवारों पर जो पेंटिंग की गई है उसमें भी देश की संस्कृति, सभ्यता व संस्कारों की झलक दिख रही है।

उन्होंने कहा कि दैनिक सफाई के साथ-साथ विशेष सफाई की भी जरूरत होती है जिसके लिए यह सफाई महायज्ञ शुरू किया गया है, जब तक आप सभी सक्रिय होकर इस सफाई कार्याे में योगदान नहीं देंगे, यह कार्य पूरा नहीं होगा। उन्होंने कहा कि शहर की सड़के चौड़ी हो गई है, ओवर ब्रिज, फ्लाईओवर व पुल बन चुके है, गंगा किनारे 09 घाट भी बनाए गए हैं। शहर के सभी 100 वार्डों के पार्षदों से समस्याओं को लेकर चर्चा हुई, जिसमें जो समस्याएं निकलकर आई उसके समाधान के लिए नगर निगम के सभी अधिकारी और पदाधिकारी मिलकर कार्य करें। सभी अपनी जिम्मेदारी निभाएं वार्डों में जो भी कमियां है, उसे शीघ्र दूर करना है, सभी वार्डों में स्वच्छता एवं व्यवस्थापन के लिए मोहल्ला समितियां गठित की जाए, जो कार्यों कि निगरानी के लिए पूरे समय सक्रिय रहे।

उन्होंने कहा कि कुंभ के अमृत कलश से अमृत पान करने के लिए मनुष्यों के साथ-साथ देवी, देवता, गंधर्व, किन्नर, पशु-पक्षी सभी यहां आते हैं। हमें महाकुंभ की दिव्यता, भव्यता, अलोकिकता के साथ दुनिया को यह भी दिखाना है कि हम कुंभ क्षेत्र में आने वाले 45 से 48 करोड लोगों की व्यवस्था भी सुचारू रूप से कर सकते हैं। बेहतर मैनेजमेंट को भी दुनिया को दिखाना है। यूनेस्को ने हमारी इस परंपरा को वर्ल्ड हेरिटेज का खिताब देकर हमें सम्मानित किया है।

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