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प्रयागराज: पिता का आरोप, पुलिस अपहरण व सामूहिक दुष्कर्म के आरोपितों को बचाने में जुटी हुई
सिटी ब्रेकिंग न्यूज़: अपहरण एवं सामूहिक दुष्कर्म मामले में नाबालिक लड़की के पिता ने हण्डिया पुलिस पर गम्भीर आरोप लगाते हुए न्याय पाने के लिए सोमवार को पत्रकारों से रूबरू होते हुए कहा कि यदि मुझे और मेरी बेटी को न्याय नहीं मिला तो पूरे परिवार सहित आत्महत्या करने के लिए मजबूर हो जाऊंगा। मेरे परिवार की मौत के जिम्मेदार प्रयागराज के पुलिस अधिकारी एवं प्रदेश सरकार होगी। पीड़ित के पिता ने बताया कि 10 दिसम्बर 2021 को उसकी नाबालिक बेटी का अपहरण गांव से लगभग दो किलोमीटर दूर स्थित गांव के चार युवक दो मोटर साइकिल पर सवार होकर आए और रास्ते से उठा ले गए। घटना के समय वह गुजरात शहर में था। हालांकि घटना की जानकारी होते ही तत्काल गुजरात से फोन करके सूचना दी थी। लेकिन पुलिस ने उस समय मुकदमा दर्ज नहीं किया। हालांकि मेरे बेटे ने अपहरण की तहरीर थाने में दी। जब मै वहां से हण्डिया पहुंचा तो थाने और चौकी पर गया। चौकी पर तैनात दारोगा कार्रवाई करने के बजाय मुझे ही धमकाने लगा। हालांकि किसी तरह अपहरण का मुकदमा तो दर्ज हो गया। लेकिन उसकी बरामदगी में आनाकानी करती है। इस दौरान 28 जनवरी को जब मेरी बेटी बरामद हुई तो दबंगों ने मुझे धमकी दिया कि मुकदमा वापस ले लो नहीं तो जान से हाथ धोना पड़ेगा। बेटी के बरामद होने के बाद पुलिस ने मेरी बेटी को बात नहीं करने दिया और उसे नारी निकेतन जबरन भेज दिया। मामले की विवेचना कर रहे दरोगा ने मेरी बेटी को डरवा कर आरोपितों के इशारे पर मानमाने ढंग से बयान करा दिया। इतना ही नहीं पुलिस ने ऐसी साजिश की कि जिस युवक की शादी मेरी बेटी से कराने की बात किया, उसे वह जानती ही नहीं थी।
दुष्कर्म एवं अपहरण मामले के आरोपितों में दबंग परिवार है, उनके घर में कई अधिवक्ता हैं। जिन्होंने कानूनी रूप से बचाने के लिए सोची समझी कहानी गढ़ कर मीरजापुर के युवक से शादी करा दिया। जबकि मेरी बेटी की उम्र कम है। जो आधार कार्ड को आधार मानकर कानून से बचने के लिए जबरन शादी कराई गई, कानूनन अवैध है। मेरी बेटी अभी नाबालिक है। उसके दस्तावेज मेरे पास है। दबंग परिवार दुष्कर्म व अपहरण के आरोपितों को बचाने के लिए सभी रास्ते अपनाए। हालांकि जब मेरी बेटी ने न्यायालय के समक्ष बयान दिया तो पूरी सच्चाई बाहर आ गई। उसके साथ जबरन दिल्ली में ले जाकर दुष्कर्म किया गया। लेकिन हण्डिया इंस्पेक्टर व विवेचक पूरे मामले को आरोपितों के दबाव में आकर पूरे मामले की लीपा पोती में जुटे रहे। गरीब परिवार होने की वजह से पुलिस ने मेरी कोई सुनवाई नहीं की।
पुलिस अधीक्षक गंगापार अभिषेक अग्रवाल ने बताया कि मामले की विवेचना जारी है। बयान के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। पीड़िता के बयान में जो नए नाम सामने आए हैं, उसकी जांच की जा रही है।