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विद्युत आपूर्ति के साथ ही राजस्व वसूली पर भी दें ध्यान : अध्यक्ष
लखनऊ । अत्यधिक गर्मी पड़ने के कारण प्रदेश में विद्युत की मांग विगत वर्षों की तुलना में लगातार बढ़ रही है। जुलाई माह में विद्युत मांग 28 हजार मेगावाट से ऊपर जा चुकी है। बढ़ी हुई मांग के अनुरूप पावर कारपोरेशन रिकार्ड विद्युत आपूर्ति कर रहा है। बिजली की उपलब्धता के लिए पैसे की आवश्यकता पड़ती है और वह राजस्व की वसूली से आता है। इसलिए आप सबकी जिम्मेदारी है कि जितनी बिजली दें उतना राजस्व वसूली पर भी ध्यान दें।
ये बातें उप्र पावर कारपोरेशन के अध्यक्ष आशीष कुमार गोयल ने कही। वे शक्ति भवन में आयोजित विद्युत आपूर्ति एवं राजस्व वसूली बढ़ाने की कार्य योजना पर समीक्षा बैठक कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि वितरण निगमों का मुख्य कार्य बिजली आपूर्ति करना और बिल वसूलना है। इसके लिए हर अधिकारी एवं कर्मचारी को कार्य योजना बनाकर उसके अनुरूप कार्य करना चाहिए तभी परिणाम आयेगा। उन्होंने निर्देशित किया कि उपभोक्ताओं को समय से सही रीडिंग का बिल मिले यह सुनिश्चित किया जाये।
अध्यक्ष ने कहा कि हमारी पहली प्राथमिकता उपभोक्तओं को सही और समय से बिल उपलब्ध कराना है। यदि हम शत-प्रतिशत उपभोक्ता को सही बिल देंगे तो राजस्व वसूली में बढ़ोत्तरी दिखाई पडे़गी। पावर कारपोरेशन अध्यक्ष ने शक्ति भवन में आयोजित विद्युत आपूर्ति एवं राजस्व वसूली बढ़ाने की कार्य योजना पर चर्चा करते हुए कहा कि राजस्व वसूली बढ़े इसके लिए जरूरी है कि हम इसके लिए प्रभावी नीति बनाएं। बिजली काटने के पहले उपभोक्ता को फोन करें। उसको बताए कि आप की बिजली कटने वाली है आप बिल जमा कर दें। इसका आप को जरूर लाभ मिलेगा। यदि हम प्रत्येक बकायेदार तक फोन के माध्यम से सम्पर्क करेंगे तो राजस्व बढ़ेगा।
अध्यक्ष ने कहा कि विद्युत राजस्व वसूली बढ़ाने के लिए बेहतर विद्युत आपूर्ति भी आवश्यक है। इससे हम यह संदेश उपभोक्ताओं को दे सकेंगे कि अनवरत विद्युत तभी मिल सकेगी जब हम समय से अपना बिल जमा करेंगे। बिना विद्युत बिल वसूली बढ़ाये प्रदेश की विद्युत व्यवस्था को कैसे बेहतर किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि विद्युत व्यवस्था की सबसे मजबूत कड़ी अधिशाषी अभियन्ता, सहायक अभियन्ता एवं अवर अभियंता हैं। उन्हें अपनी जिम्मेदारी समझकर कार्य करना चाहिए। यदि वे मेहनत करेंगे तो राजस्व भी बढ़ेगा और विद्युत आपूर्ति भी बेहतर होगी।