उत्तर प्रदेश

मेरठ विकास प्राधिकरण के अधिकारी बुलडोजर चलाने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे

Admin Delhi 1
23 Nov 2022 12:17 PM GMT
मेरठ विकास प्राधिकरण के अधिकारी बुलडोजर चलाने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे
x

मेरठ न्यूज़: मेरठ विकास प्राधिकरण (एमडीए)के सरकारी दस्तावेजों में अवैध इमारतें सील है, जो ध्वस्त करने का इंतजार कर रही है। इन पर मेरठ विकास प्राधिकरण बुलडोजर चलाने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहा हैं। छिपी टैंक स्थित मृत्युंजय हॉस्पिटल है, सरकारी दस्तावेज में इस पर सील लगी है। थाने में तहरीर भी दी गई है, मगर मुकदमा पुलिस लिखने को तैयार नहीं है। अब हालत यह है कि मृत्युंजय हॉस्पिटल की बिल्डिंग बनकर तैयार हो गई है। प्लास्टर ओर पेंट भी कर दिया गया है। अब तो ऐसा भी नहीं लगता कि यह बिल्डिंग हाल ही में तैयार की गई है। मृत्युंजय हॉस्पिटल के पास कोई पार्किंग नहीं है। जो भी मरीजों के साथ गाड़ी आती हैं, उन्हें सड़क पर पार्क कर दिया जाता हैं, जिससे यहां पर जाम लगा रहता हैं। मानचित्र में बेसमेंट में पार्किंग दर्शाई गई है, लेकिन वहां भी मरीजों के बेड लगे हुए हैं।

इस तरह से मेरठ विकास प्राधिकरण ने मृत्युंजय हॉस्पिटल के डॉक्टर पर सील तोड़ने के बाद थाने में तहरीर दी थी, लेकिन तहरीर आने के बाद भी पुलिस ने डॉक्टर के खिलाफ मुकदमा दर्ज नहीं किया। यही नहीं, सील के बाद तमाम उल्लंघन कानून का हुआ, मगर क्या इस बिल्डिंग पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का बुलडोजर चल पाएगा। यह बड़ा सवाल है। इसके अलावा पीएल शर्मा रोड पर पांच ऐसी बिल्डिंग है, जिन पर सरकारी दस्तावेज में सील लगी हुई है, लेकिन वो बिल्डिंग भी ध्वस्त करने का इंतजार कर रही है। इसी तरह से बेगमपुल पर कई बड़े निर्माण हुए, उन पर सील भी लगी, लेकिन वो भी ध्वस्त करने का इंतजार कर रही हैं। कुछ बिल्डर ऐसे हैं, जो बेगमपुल पर उसके आसपास पुरानी बिल्डिंग खरीदते हैं, उसे तोड़कर नए सिरे से बना कर बेच देते हैं। ऐसे बिल्डरों के लाखों के व्यारे-नारे हो रहे हैं। क्या कंपाउंडिंग के नाम पर भी ऐसे बिल्डरों को मेरठ विकास प्राधिकरण के इंजीनियर संरक्षण दे रहे हैं। साकेत में भी पांच बिल्डिंग पर मेरठ विकास प्राधिकरण ने सील लगाई थी। वहां भी सील तोड़ कर निर्माण पूरा कर दिया गया है। ये सरकारी दस्तावेजों में उल्लेख हैं।

वो बिल्डिंग भी ध्वस्त करने का इंतजार कर रही हैं। इस तरह से मेरठ विकास प्राधिकरण से मिले आंकड़ों के अनुसार 200 अवैध इमारतें ऐसी है, जो आठ माह के भीतर सील की गई है, जिन पर बुलडोजर चलना चाहिए था, लेकिन उस दिशा में काम नहीं किया जा रहा है।

Next Story