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- लापरवाही दो महीने में...
प्रतापगढ़: विद्युत उपकरण से जरा सी चूक और लापरवाही आपके लिए जानलेवा साबित हो सकती है. पिछले दो महीने में करंट से कुंडा में सात लोगों की जान जा चुकी है. बारिश के दिनों में करंट का खतरा बढ़ जाता है. बीते महीनों में करंट की चपेट में आने से सात लोगों ने अपनी जान गंवाई. जबकि दर्जनों लोग झुलसने से घायल हो गए. बिजली मिलने वाली सुख सुविधाओं के साथ सतर्कता भी उतनी ही जरूरी है. बिजली उपकरण के साथ जरा सी लापरवाही सीधे मौते के मुंह पहुंचा दे रही है. ऐसे ही मामले पिछले कुछ समय में हुए हैं.
6 जुलाई को संग्रामगढ़ के अवसानगंज निवासी सूरज सोनी (20) की घर की खराब लाइट दुरुस्त करते समय करंट से मौत हो गई. कुंडा के खेमीपुर गांव में 11 जुलाई को दस वर्षीय रागिनी शुक्ला खेलते समय खुले तार की चपेट में आ गई, इससे उसकी मौत हो गई. 12 जुलाई को महेशगंज के अचकवापुर नरियावां गांव निवासी उमेश कुमार (40) करंट की चपेट में आने से जान गंवा बैठा. 22 जुलाई को मानिकपुर के केशवपुर गांव निवासी संविदा लाइनमैन अनिल कुमार पटेल की करंट से झुलसने पर लखनऊ में इलाज के दौरान मौत हो गई. अनिल 13 जून को पोल पर चढ़कर तार सही करने के दौरान झुलस गया था. 27 जुलाई को महेशगंज थाना क्षेत्र के ऐमांपुर विन्धन गांव निवासी सूरजकली (50) की घर में करंट की चपेट में आने से मौत हो गई. 13 अप्रैल को नवाबगंज के जनवामऊ गांव निवासी राम दुलारी (40) अपने भतीजे मोहित उर्फ राम अंजोर निवासी इटैली कोतवाली ऊंचाहार रायबरेली भतीजे संग खेत में पानी लगाने के दौरान करंट की चपेट में आने जान गंवा बैठी. उन दोनों को छुड़ाने में एक और गंभीर घायल हो गया. इसके अलावा भी दर्जन भर से ज्यादा लोग करंट की चपेट में आने से झुलस चुके हैं.