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लखनऊ न्यूज़: बेटी को लाल जोड़े में विदा करने की तैयारी में जुटी मुन्नी देवी (58) की सड़क हादसे में मौत हो गई. वह शादी के लिए खरीदारी करने बाजार गई थी. वापसी में मोहनलालगंज के बक्खाखेड़ा में उनका ई-रिक्शा पलट गया. गम्भीर घायल मुन्नी देवी को केजीएमयू ट्रामा सेंटर ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया. मां की मौत होने की बात छिपाते हुए भाइयों ने बहन को विदा करने की तैयारी शुरू कर दी. ऐसे में दूल्हन बनी बेटी को पता ही नहीं चला कि मां उसे छोड़ कर चली गई.
ई-रिक्शे की रफ्तार बनी जानलेवा डण्डा सिकंदरपुर निवासी अश्विनी शर्मा के मुताबिक पिता जयपाल शर्मा की मौत के बाद मां ने ही हम लोगों का ध्यान रखा. छोटी बहन कल्पना का रिश्ता मां ने राजाजीपुरम निवासी देवांश से तय किया था. बारात आनी थी. इसके लिए मुन्नी देवी बाजार गईं थी. वह सामान लेकर ई-रिक्शे से लौट रही थी. बक्खाखेड़ा के पास ई-रिक्शे पलट गया. मुन्नी देवी उसके नीचे दबने से मौत हो गई. सूचना पर अश्विनी और छोटा बेटा आशीष पहुंच गए. वे मां को आलमबाग स्थित निजी अस्पताल ले गए, जहां से डॉक्टरों ने ट्रामा सेंटर ले जाने को कहा. अश्विनी के मुताबिक इलाज के दौरान मां की मौत हो गई.
मां की मौत का गम दिल में दबाए अश्विनी, आशीष ने रिश्तेदारों को हादसे की सूचना दी. साथ ही ताकीद किया कि कल्पना को इस बारे में कुछ भी न बताए. रिश्तेदारों की रजामंदी से तय हुआ कि कल्पना के विदा होने के बाद ही मुन्नी देवी के शव की अंतिम क्रिया की जाएगी. ऐसे में बेटों ने मां के शव को केजीएमयू के पोस्टमार्टम हाउस में रखवा दिया और घर लौट आए. बहन कल्पना का चेहरा देख कर भाइयों का दिल भर आया. बोझिल मन से ही, लेकिन बहन की बारात की अगवानी की तैयारी पूरी की जाने लगी. शाम बारात आनी थी ऐसे में परिवार वाले कल्पना को लेकर मोहनलालगंज से ऐशबाग स्थित बैंक्वेट हाल आ गए. कल्पना ने कई बार मां के बारे में पूछा. लेकिन सब उससे झूठ बोलते रहे.