उत्तर प्रदेश

Gorakhpur: मासूम का अपहरण कर जंगल में फेंका

Admindelhi1
10 Dec 2024 5:27 AM GMT
Gorakhpur: मासूम का अपहरण कर जंगल में फेंका
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आरोपी गिरफ्तार

गोरखपुर: सेक्टर-5 स्थित गांव अगवा हुए पांच वर्षीय बच्चे को सकुशल बरामद कर लिया गया. पुलिस ने बच्चे का अपहरण करने के बाद उसे मरा समझकर गाजियाबाद के जंगल में फेंकने वाले आरोपी को भी गिरफ्तार लिया. आरोपी ने दो माह पहले गाल पर लगे थप्पड़ का बदला लेने के लिए वारदात को अंजाम दिया था.

डीसीपी रामबदन सिंह ने बताया कि हरौला में रहने वाले राज मिस्त्रत्त्ी अंगद तांती ने 17 को थाने में एफआईआर दर्ज कराई थी कि उनका पांच वर्षीय बेटा लापता है. टीम ने खोजबीन शुरू की. उसी दिन गली से बारात जाने की वजह से ऐसा लगा कि जैसे बच्चा बारात में चला गया होगा, लेकिन बारात के वीडियो आदि देखने पर कोई सफलता नहीं मिली. खोजबीन के दौरान 23 को अंगद के घर से कुछ दूरी पर एक लगे सीसीटीवी कैमरे की फुटेज में अंगद के साथ काम करने वाले मजदूर धीरज मूल निवासी बिहार अरवल गांव सिकंदरपुर के साथ बच्चा जाता दिखा. पुलिस ने आरोपी को हरौला पार्क के पास से हिरासत में ले लिया. पूछताछ में उसने बताया कि वह 17 की सुबह बच्चे को लेकर नोएडा से दिल्ली के आनंद विहार और फिर साहिबाबाद थाना क्षेत्र में नागद्वार के पास जंगल में पहुंचा. वहां गला दबाकर बच्चे को मारकर फेंक आया. पुलिसकर्मियों ने आरोपियों से हत्या के पीछे का कारण पूछा तो आरोपी ने बताया कि दो माह पहले अंगद से विवाद हो गया था. अंगद ने उसे थप्पड़ जड़ दिया था. उसका बदला लेने के लिए उसने बच्चे की हत्या कर दी.

पूछताछ में आरोपी धीरज ने बताया कि उसे पता था कि बच्चे का असली पिता सविता का पूर्व पति प्रेम है और वह बच्चे को वापस लेना चाहता है. वह बच्चे को कोर्ट के माध्यम से लेने की धमकी दे रहा है.

इसका फायदा उठाने के लिए धीरज ने बच्चे को अपहरण कर मारने की साजिश रची थी, ताकि प्रेम बच्चे को मारने के शक में अंगद और उसकी कथित पत्नी पर मुकदमा दर्ज करा दे. पुलिस ने मौके पर जाकर देखा तो शव नहीं मिला. स्थानीय लोगों से जानकारी करने पर पता चला कि 10-11 दिन पहले एक बच्चा मिला था और साहिबाबाद पुलिस ने सीडब्ल्यूसी के समक्ष पेश कर बच्चे को बाल आश्रम में भेज दिया था. पुलिस जब बच्चे तक पहुंची तो परिजन बच्चे को देखकर खिल उठे. बच्चे ने बताया कि धीरज अंकल ने मुंह दबाकर पिटाई की थी और जंगल में फेंक दिया था. सुबह होने पर होश आया तो पैर में बंधी रस्सी को खोला और आसपास चप्पल खोजीं, लेकिन नहीं मिलीं तो नंगे पैर सड़क पर पहुंचा. लोगों ने उसे पुलिस के पास पहुंचाया. पुलिस बहुत सारे बच्चों के पास उसे छोड़ आई थी.

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