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- सराहनीय मुसीबतों का...
नोएडा न्यूज़: शहर में एक ऐसा नौजवान है जो भटके बच्चों को सही राह दिखा रहा है। बुनियादी शिक्षा देने के साथ सरकारी स्कूलों में दाखिला दिलाकर उनका जीवन बदल रहा है। खास बात यह है कि अपनी प्रतिभा के बूते यह गरीब बच्चे कई फिल्मी सितारे एवं राजनेताओं से सम्मान पा चुके हैं। इसके अलावा कई बड़े रिकार्ड इनके नाम दर्ज हैं।
सेक्टर-22 निवासी 23 वर्षीय प्रिंस शर्मा का मानना है कि जीवन में खुद के लिए तो सब करते है, लेकिन दूसरों के लिए कुछ करना, समाज में आपको एक अलग पहचान दिलाता है। वर्ष 2017 में इन्होंने भीख और कूड़ा बीनने वाले बच्चों को शिक्षित करने की पहल की और उन्हें पढ़ाकर नई राह दिखाने का बीड़ा उठाया। आज सात वर्ष हो गए, इनके द्वारा पढ़ाए गए बच्चे कई कीर्तिमान स्थापित कर रहे हैं। प्रिंस ने बताया कि 2017 में उन्होंने बच्चों को पढ़ाना शुरू किया था, तो हमे कई मुसीबतों को झेलना पड़ा। पढ़ाने के लिए कोई तय जगह नहीं होने के कारण हम लोग सड़क किनारे, फुटपाथ पर सुबह के समय बच्चों को पढ़ाने लगते थे। लोगों ने हमे पागल कहना शुरू कर दिया था, लेकिन आज वही लोग उनके साथ झुग्गियों में जाते हैं और बच्चों को पढ़ाते हैं। उस वक्त जो उन्होंने परेशानी झेली उसको ध्यान में रखते हुए उन्होंने अपनी पाठशाला का नाम चैलेंजर्स ग्रुप रख दिया। शुरुआत में बच्चे ठीक से पढ़ने नहीं आते थे, जो एक दिन आते वो दूसरे दिन नहीं आते। इसलिए उन्होंने कई जगह चैलेंजर्स पाठशाला खोली।
बच्चों ने रिकॉर्ड बनाया
बीते वर्ष उनके द्वारा पढ़ाए जा रहे गरीब बच्चों ने सर्वपल्ली राधा कृष्ण की जयंती पर (शिक्षक दिवस) पर उनके कैरिकेचर बनाए। इस प्रतियोगिता में देश के कई छात्रों ने हिस्सा लिया। 60 बच्चों ने 3.51 मिनट में उनकी 60 तस्वीर बनाई, जिससे उनका नाम एशिया बुक ऑफ रिकार्ड में दर्ज है। उनकी इस उपलब्धि पर अभिनेत्री रविना टंडन, अभिनेता सोनू सूद और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव बच्चों को सम्मानित कर चुके हैं।
देशप्रेम का पाठ पढ़ा रहे
कई बच्चों को नशा समेत सट्टेबाजी की जद से बाहर निकाला है। वह उन्हें शिक्षा के साथ ही देशप्रेम का पाठ भी पढ़ाते हैं। 2017 में छत्तीसगढ़ में हुए नक्सी हमले में शहीदों की याद में उन्होंने सेक्टर-39 राजकीय डिग्री कॉलेज में पौधारोपण किया था। इसका संरक्षण वह पूरी टीम के साथ मिलकर करते हैं। इस दिन पूरी टीम पौधे के पास जाती है, पानी देकर शहीदों को नमन करती है। वहीं, बच्चों को आजादी के वीरों की गाथा पढ़ाई जाती है।