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लोगो को सड़क किनारे फैली निर्माण सामग्री कर रही बीमार
लखनऊ न्यूज़: शहर में सिर्फ वाहन-उद्योग ही नहीं, लापरवाही भी प्रदूषण बढ़ने के पीछे बड़ा कारण है. पिछले एक सप्ताह से वायु प्रदूषण बढ़ना शुरू हुआ तो कारण खोजने के प्रयास शुरू हुए.
यूपी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की ओर से ज्यादा प्रदूषित इलाकों में सर्वेक्षण किया गया. इस दौरान सामने आया कि लालबाग, अलीगंज और तालकटोरा की स्थिति चिंताजनक है. इन जगहों पर प्रदूषण के बड़े कारण सड़क किनारे रखा निर्माण सामग्री का कचरा, सड़क के गड्ढे और मोरंग-बालू के ढेर हैं. बोर्ड की ओर से अपनी सर्वेक्षण रिपोर्ट नगर आयुक्त और जिला प्रशासन को भेजी गई है. जिलाधिकारी की ओर से प्रदूषण कम करने के लिए सर्वे में आई कमियों को दूर करने को कहा गया है. सर्वेक्षण के अनुसार तालकटोरा राजाजीपुरम में सड़क के दोनों किनारों पर निर्माण सामग्री पाया गया. अव्यवस्थित सड़क किनारे पड़े इस कचरे से बड़ी मात्रा में धूल और सामग्री के कण हवा में घुल रहे हैं. वाहनों के गुजरने पर स्थिति और खराब हो जा रही है. लालबाग और कैसरबाग में ऑफिसर्स कॉलोनी रोड के दोनों किनारों पर खुले में कचरा रखा पाया गया. लालबाग से कैसरबाग के बीच में सड़क भी जगह जगह टूटी हुई है. कई स्थानों पर गड्ढे मिले. इन कारणों से एक तरफ हवा में धूल उड़ रही है तो दूसरी ओर बार बार जाम की स्थिति बन रही है. इससे एक जगह वाहन चालू अवस्था में एक रुके होने से वायु प्रदूषण बढ़ रहा है.
दमघोंटू स्तर पर पहुंचा वायु प्रदूषण
छुट्टी से स्कूल, कॉलेज, सरकारी दफ्तर बंद रहे. इसके बावजूद शहर के कई इलाकों में वायु प्रदूषण खतरनाक स्तर पर पहुंचा. सबसे जहरीली हवा अलीगंज की रही. दूसरी नम्बर पर लालबाग, तीसरे स्थान पर आशियाना और चौथे पर तालकटोरा-राजाजीपुरम क्षेत्र रहे.
प्रदूषण का स्तर
क्षेत्र एक्यूआई
अलीगंज 414
लालबाग 376
आशियाना 373
तालकटोरा 372
इन्दिरा नगर 201
गोमती नगर 240