उत्तर प्रदेश

हादसे के बाद कोमा में है सिपाही, पिता की गुहार.. 3080 की पेंशन में कैसे हो इलाज

Admin4
6 Dec 2022 1:35 PM GMT
हादसे के बाद कोमा में है सिपाही, पिता की गुहार.. 3080 की पेंशन में कैसे हो इलाज
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उत्तर प्रदेश। उत्तर प्रदेश के गौतमबुद्ध नगर जिले में ड्यूटी के दौरान सड़क दुर्घटना में घायल आरक्षी 5 वर्ष से कोमा में है। पुत्र के इलाज के लिए पिता ने 65 लाख रुपये का खर्च बताया है। उनके खेत बिक गए। लोगों से कर्ज लेना पड़ा। विभाग ने पुत्र को सेवानिवृत्त कर दिया। जिसके बाद अब पिता का आरोप है कि पेंशन के नाम पर पुत्र को 3080 रुपये महीने मिल रहे हैं। इतनी धनराशि में वह बेटे का इलाज कैसे कराएं।
बता दें अब पिता आयुक्त कार्यालय पहुंचे है। उन्होंने पुलिस आयुक्त डा. प्रीतिंदर सिंह को पीड़ा बताते हुए मदद की गुहार लगाई। आयुक्त ने स्वजन को मदद का आश्वासन दिया।
दरअसल, खंदौली के हसनपुरा गांव निवासी विशंभभर ने बताया उनकी घर में ही परचूनी की दुकान है। परिवार में 2 पुत्र, एक पुत्री है। बड़ा पुत्र सागर सिंह वर्ष 2016 में पुलिस विभाग में आरक्षी के रूप में भर्ती हुआ था। सागर की पहली तैनाती गौतमबुद्ध नगर के थाना फेस-2 में थी। वह 4 सितंबर 2017 को बाइक से समन तामील करने जा रहा था। रास्ते में यूटर्न पर एक स्कूटी सवार से टकरा गया। हेलमेट पहने होने के बावजूद वह गंभीर घायल हो गया। जिसके बाद से कोमा में है।
जानकारी देते हुए सिपाही के पिता विशंभर ने बताया कि पुत्र का गौतमबुद्ध नगर और दिल्ली में करीब डेढ़ महीने उपचार कराया। जिसके बाद से आगरा लेकर आ गए। यहां पर उसका उपचार करा रहे हैं। पुत्र अभी तक कोमा से नहीं निकल सका। आगे पिता ने बताया कि नवंबर 2021 में पुलिस विभाग ने पुत्र को सेवानिवृत्त कर दिया। उसे 3080 रुपये पेंशन मिल रही है। पिता का दर्द है कि पुत्र के प्रतिदिन की दवा और नली से खाना देने में ही हर महीने 14 से 15 हजार रुपये महीना खर्च हो जाते हैं।
वहीं मामले को देखते हुए आगरा पुलिस कमिश्नर डा. प्रीतिंदर सिंह ने बताया कि सेवानिवृत्त आरक्षी के पिता मिले थे। मामले को दिखवाया जा रहा है। आरक्षी की नौकरी बहुत कम बताई गई है। जो पेंशन बनी है, उसे दिखा रहे हैं। त्रुटि होने पर उसे सही कराया जाएगा। स्वजन से कहा गया है कि वह उपचार से संबंधित बिल जमा करा दें। जिसके बाद भुगतान कराया जाएगा।

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