उत्तर प्रदेश

ऑनलाइन व्यवस्था में भी सेंध, दलाल बनवा रहे लर्निंग लाइसेंस

Admin4
10 Nov 2022 6:40 PM GMT
ऑनलाइन व्यवस्था में भी सेंध, दलाल बनवा रहे लर्निंग लाइसेंस
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बरेली। आरटीओ की ऑनलाइन व्यवस्था में भी दलालों ने सेंध लगा दी है। आवेदक की जगह पर दूसरे लोग बैठकर टेस्ट दे रहे हैं। विभाग के पास मामले पहुंचने पर पकड़ में आ रहे हैं। दो माह में करीब 250 लोगों के लाइसेंस निरस्त किए गए हैं।
आवेदकों को आरटीओ कार्यालय की भागदौड़ और दलालों के चंगुल से बचाने के लिए फेस लेस योजना शुरू की गई है। जिसके बाद परिवहन विभाग की वेबसाइट पर ऑनलाइन लर्निंग आवेदन पर स्लाट मिलना बंद हो गया है। बदले में आवेदक नई व्यवस्था के लिए घर बैठे मोबाइल फोन पर या साइबर कैफे से आवेदन करके लर्निंग डीएल बनवाने की प्रक्रिया को पूरा कर रहे हैं, लेकिन दलालों ने इस प्रक्रिया में भी घुसपैठ कर ली है।
वे लाइसेंस बनवाने का ठेका ले रहे हैं। आवेदकों की जगह खुद टेस्ट देने जाते हैं। टेस्ट में वॉयलेशन के रोजाना लाइसेंस निरस्त किए जा रहे हैं। इनमें आधार पर लगे फोटो से छेड़छाड़ पकड़ में आ रही है। शातिर आधार के फोटो बदल देते हैं, जिससे दूसरा व्यक्ति टेस्ट दे सके, लेकिन सॉफ्टवेयर आधार, डीएल या पेन कार्ड से छेड़खानी के मामले अक्सर पकड़ लेता है।
लगातार निरस्त हो रहे आवेदन
अक्टूबर में फेस लेस के तहत 1855 विभाग के पास आवेदन आए। जिसमें से 580 लोग पास हुए। 124 लोगों के आवेदन निरस्त कर दिए गए। वहीं बाकी लोगों ने आवेदन करने के बाद टेस्ट ही नहीं दिया। इसके अलावा सितंबर में 2902 लोगों ने लर्निंग लाइसेंस के लिए विभाग में आवेदन किया। जिसमें से 1480 लोगों को लर्निंग लाइसेंस जारी कर दिया गया। 160 आवेदकों के आवेदन निरस्त कर दिए गए। वहीं 9 नवंबर तक 712 आवेदन आ चुके हैं, जिसमें से 22 लोगों को लर्निंग लाइसेंस जारी किया जा चुका है। 6 लोगों के आवेदन निरस्त किए जा चुके हैं।
फेस लेस योजना में भी लोग किसी दूसरे को टेस्ट देने के लिए बैठा दे रहे हैं। ऐसे मामले विभाग के पास आने पर पकड़े जा रहे हैं
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