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बरेली न्यूज़: 300 करोड़ की धोखाधड़ी करके भागने वाले गंगा इंफ्रासिटी के एमडी राजेश मोर्य समेत तीन के खिलाफ थाना कैंट में धोखाधड़ी और रुपये हड़पने की रिपोर्ट दर्ज कराई गई है. रिटायर फौजी की तहरीर पर रिपोर्ट दर्ज की गई है.
कैंट थाना क्षेत्र के सद्भावना कॉलोनी लाल फाटक निवासी रिटायर फौजी नरसिंह आर्मी से रिटायर हैं. नरसिंह का कहना है, 2018 में गंगा इंफ्रासिटी प्राइवेट लिमिटेड, अरमान हाइट बिल्डिंग ग्रीनपार्क कॉलोनी बीसलपुर रोड, विश्वनाथ मौर्य, सिविल लाइंस ने घर पर ही कंपनी का ऑफिस खोला था. वह अपार्टमेंट, भवन आवासीय और गैर आवासीय भवन खरीदने बेचने का कारोबार करते थे. उनका राजेश मौर्या आदि से नई जेल भुता रोड के पास अधबने आवास और प्लॉट को लेकर सौदा तय हुआ था. एक लाख रुपये एडवांस दिए गए थे. एसएसपी के आदेश पर फौजी नरसिंह के तहरीर पर थाना कैंट में राजेश कुमार मौर्य, अमित उर्फ किशन और विश्वनाथ मौर्य के खिलाफ धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया. 26 अप्रैल 2018 को रिटायर्ड फौजी नरसिंह के बेटे राजीव कुमार ने अपने बैंक खाता संख्या से गंगा इंफ्रासिटी प्राइवेट लिमिटेड के एचडीएफसी बैंक खाते में एक लाख एडवांस अमित मौर्य और विश्वनाथ मौर्य के कहने पर जमा कराए थे. 15 से 20 दिन बाद कंपनी ठगी व धोखाधड़ी कर फरार हो गई.
प्रदेश के बाहर भी की ठगी
गंगा इंफ्रासिटी का मैनेजिंग डायरेक्टर राजेश मौर्या ने कॉलोनी में महंगे प्लॉट सस्ते दामों में बेचने और तीन साल में रुपये दोगुने करने की स्कीम का झांसा देकर प्रदेश और प्रदेश के बाहर से भी काफी लोगों को चूना लगया.
ठगी के पैसों से मकान खरीदे
300 करोड़ रुपये की ठगी के बाद आरोपी राजेश मौर्या आदि ने नोएडा, दिल्ली, गाजियाबाद, गुड़गांव और उत्तराखंड में करोड़ों की प्रॉपर्टी, मकान आदि खरीद लीं. कैंट इंस्पेक्टर बलवीर सिंह का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है