उत्तर प्रदेश

मंत्री कुवंर बृजेश सिंह का ऐलान, यूपी में 250 की आबादी वाले गांव मुख्य मार्गों से जुड़ेंगे, जानिए कब शुरू होगा काम

Renuka Sahu
10 Jun 2022 5:51 AM GMT
Announcement of Minister Kunwar Brijesh Singh, villages with a population of 250 in UP will be connected to the main roads, know when the work will start
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फाइल फोटो 

प्रदेश में 250 की आबादी वाले गांवों के मार्गों को प्रमुख सड़क से लिंक किया जाएगा।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। प्रदेश में 250 की आबादी वाले गांवों के मार्गों को प्रमुख सड़क से लिंक किया जाएगा। इसके लिए काम शुरू हो चुका है। बरसात में सड़कें अधिक टूटती हैं। इसका कारण है पानी। जहां भी पानी भरेगा वहां सड़क पर गड्ढा बन जाएगा। बरसात से पहले तारकोल डालने से पहले का अतिरिक्त काम पूरा कर लिया जाएगा। बारिश के बाद तारकोल डाला जाएगा ताकि बरसात से सड़क सुरक्षित रहें। लोक निर्माण राज्य मंत्री कुंवर बृजेश सिंह ने बरसात से ठीक पहले सड़क बनाने और बारिश में इनके टूटने के सवाल पर उक्त बात कही। पेश है लोक निर्माण राज्यमंत्री से सवाल और इनके जवाब के प्रमुख अंश-:

प्रश्न: उत्तराखंड की सीमा पुरकाजी से मुरादनगर तक गंगनहर कांवड़ पटरी मार्ग की दायीं पटरी का निर्माण मुख्यमंत्री की घोषणा में शामिल है। एक साल हो गए। जमीन पर काम शुरू नहीं हो पा रहा।
उत्तर: मुरादनगर तक कांवड़ मार्ग पर बाईं पटरी पर काम हो चुका है। अब दाईं पटरी पर काम होना है, लेकिन इसमें एक दिक्कत है। यहां वन विभाग का बड़ा क्षेत्र आता है। सर्वे में सामने आया कि यहां से आगे कांवड़ मार्ग निर्माण के लिए बड़ी संख्या में पेड़ों को काटना होगा। आज पेड़ों का काटने की नहीं, बचाने की जरूरत है। इसलिए फिलहाल इस मार्ग पर काम रोक दिया। हम पेड़ नहीं काटना चाहते। पेड़ों की कीमत पर कांवड़ मार्ग नहीं बनाया जाएगा। विकल्प की तलाश की जा रही है। यदि कुछ हटकर वैकल्पिक मार्ग बनता है तो उस पर काम करेंगे। इस पर जल्द निर्णय हो जाएगा।
प्रश्न: सरकार ने सड़क परियोजनाओं पर काम किया है। हाईवे बन रहे हैं। लगातार काम हो रहा है। विभाग की आगे की योजनाएं क्या हैं। किन प्रोजेक्ट पर काम चल रहा है या जल्द पूरा होने वाला है?
उत्तर: बदलाव की शुरुआत तो 2014 से ही हो गई थी। केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार बनते ही काम शुरू हुआ। 2017 में प्रदेश में पहली बार मुख्यमंत्री के रूप में योगी आदित्यनाथ को जिम्मेदारी मिली। योग्य एवं ईमानदार सोच के साथ काम करके ही उनके नेतृत्व में दोबारा सत्ता में आए। केवल लोक निर्माण विभाग ही नहीं बल्कि सभी विभागों का एक ही लक्ष्य है, उचित कानून व्यवस्था देंगे, अंत्योदय योजना पर फोकस करेंगे और सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास, के साथ काम करेंगे। मुख्यमंत्री के स्पष्ट निर्देश हैं कि सरकार जनता के बीच जाएगी। इसी क्रम में मंत्रियों के 18 ग्रुप मंडल में पहुंच रहे हैं। प्रदेश पहले दो एक्सप्रेस-वे के नाम से जाना जाता था, लेकिन आज कई एक्सप्रेस-वे हैं। प्रदेश में दो लाख 76 हजार किमी सड़क क्षेत्र लोक निर्माण विभाग के दायरे में आता है। सरकार केवल सड़क पर नहीं बल्कि सड़क सुरक्षा को लेकर भी गंभीर है। पहली बार कोई सरकार है जो सड़क सुरक्षा पर भी काम कर रही है। सरकार का लक्ष्य है कि जो भी सड़कें बनें वे गुणवत्तायुक्ता हों। प्रधानमंत्री सड़क योजना की तरह राज्य सरकार अपने अधीन आने वाली सड़कों के रखरखाव पर काम कर रही है।
प्रश्न: मंडी समिति, गन्ना विभाग, लोक निर्माण विभाग इन सभी पर सड़कें बनाने का दायित्व है लेकिन इनमें समन्वय की कमी है?
जवाब : हां, यह ऐसी समस्या आ रही है। सरकार सभी विभागों के समन्वय पर काम कर रही है ताकि काम बेहतर हो। सभी विभागों का डाटा बेस एकसाथ लाया जा रहा है। मंडी समिति और गन्ना विभाग द्वारा बनवाई जाने वाली सड़कों के मेंटीनेंस का काम भी अब लोक निर्माण विभाग करेगा।
प्रश्न: मेरठ, बुलंदशहर, आगरा जैसे शहरों में रिंग रोड की मांग उठ रही है। मेरठ में इसके लिए बजट भी आवंटित हो चुका है। शहरों के लिए सरकार की क्या योजना है।
जवाब : इसके लिए दो बार बैठक हो चुकी हैं। अभी कोई निष्कर्ष नहीं निकला है। जब तक कोई ठोस हल नहीं निकले, तब तक कोई घोषणा करना ठीक नहीं है। यह मांग केवल तीन शहरों में नहीं बल्कि सात शहरों में उठी है। सरकार के एजेंडे में यह मामला है और वह सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ रही है। जल्द सफलता मिलेगी।
प्रश्न: विभाग में काफी पदों पर लंबे समय से नियुक्ति नहीं हुई है। जेई, एई, एक्सईएन, एसई के पद खाली हैं। मेरठ जैसे जिले में ही एक्सईएन को डबल चार्ज है।
जवाब : हां, यह सही है। विभाग में कई महत्वपूर्ण पद रिक्त हैं। इसके पीछे मामला कोर्ट में विचाराधीन होना है। कुछ मामले कोर्ट में चल रहे हैं। हमने महाअधिवक्ता से बात की है। सरकार की कोशिश है कि सम्मानजनक हल के साथ रिक्त पदों पर भर्ती शुरू की जाए। कोर्ट का जो भी फैसला आएगा उसे माना जाएगा।
प्रश्न: हमेशा बरसात से पहले सड़कों को गड्ढामुक्त बनाने की बात होती है, और बरसात के बाद सड़कें फिर टूट जाती है। बजट की भी कमी रहती है। इस दिशा में क्या प्रस्ताव है?
जवाब : बजट की कोई समस्या नहीं है। सरकार सड़कों को गड्ढा मुक्त करने के लिए अभियान चलाती है। मंडी समिति और गन्ना विभाग भी अपने स्तर से सड़क बनाते हैं। कई बार क्या होता है कि आम लोग इनके क्षेत्र की सड़कों को लोक निर्माण से जोड़कर देख लेते हैं। बावजूद इसके सरकार गंभीर है। सड़कों को गड्ढा मुक्त करने के लिए काम चल रहा है। बारिश से पहले तारकोल डालने को छोड़कर बाकी सारी प्रक्रिया पूरी कर ली जाएगी। बरसात के बाद तारकोल डाला जाएगा ताकि बरसात की वजह से सड़क खराब ना हों।
प्रश्न : सहारनपुर में स्पोर्ट्स कॉलेज कब तक बनकर तैयार हो जाएगा।
जवाब : स्पोर्ट्स कॉलेज को बजट आवंटित कर दिया गया है। हॉस्टल बनकर तैयार है। तेजी से काम चल रहा है। जल्द इसे हैंडओवर कर दिया जाएगा। मां शाकुम्बरी देवी विवि का काम तेजी से जारी है। इस विवि को जोड़ने वाले मार्ग के चौड़ीकरण को मंजू्री दे दी गई है। यह मार्ग अभी काफी संकरा था जिसे अब सात मीटर चौड़ा कर दिया जाएगा।
प्रश्न : निर्माण खंड और प्रांतीय खंड अलग-अलग हैं। आम जनता इसको समझ नहीं पाती। क्या सरकार इनको एक करने पर विचार कर रही है।
जवाब : नहीं, ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं है। यह विभाग की प्रशासनिक व्यवस्था को बेहतर ढंग से संचालित करने के लिए है। आम लोगों पर इससे असर नहीं होता। दोनों विभागों में समन्वय के लिए प्रहरी, चाणक्य और विश्वकर्मा जैसी तकनीकी एप्लीकेशन एवं सॉफ्टवेयर लाए गए हैं। इससे काम में पारदर्शिता आई है।
समय से पहले बनेगा देवबंद का एटीएस कमांडो सेंटर
राज्य मंत्री कुंवर ब्रजेश सिंह ने देवबंद में बन रहे एटीएस सेंटर पर कहा कि यह जल्द बनकर तैयार हो जाएगा। मंत्री के अनुसार देवबंद में कई बार संदिग्ध गतिविधियां पकड़ी गई हैं। ऐसे में देवबंद में इस सेंटर की महत्ता को समझा जा सकता है। यह सेंटर देश विरोधी गतिविधियों पर रोक लगाने का काम करेगा।
प्रदेश के सात शहरों में बनेगी इनर रिंग रोड
राज्य मंत्री ने कहा कि सरकार सड़क निर्माण के साथ ही सड़क सुरक्षा के लिए भी गंभीर है। मेरठ, बुलंदशहर एवं आगरा शहरों में इनर रिंग रोड की जरुरत और मांग पर राज्य मंत्री ने कहा कि इसके लिए दो बैठक हो चुकी हैं, लेकिन अभी कोई निष्कर्ष नहीं निकला है। राज्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के सात शहरों में रिंग रोड का प्रस्ताव है। उम्मीद है, हम जल्द ही किसी न किसी निष्कर्ष पर पहुंच जाएंगे। सरकार के एजेंडे में यह प्राथमिकता में है और वह सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ रही है।
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