त्रिपुरा

विपक्षी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने अपने समर्थकों पर लगातार हो रहे हमलों को लेकर राज्य में प्रदर्शन करने की दी धमकी

Gulabi
21 Dec 2021 3:28 PM GMT
विपक्षी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने अपने समर्थकों पर लगातार हो रहे हमलों को लेकर राज्य में प्रदर्शन करने की दी धमकी
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विपक्षी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी
अगरतला। त्रिपुरा में विपक्षी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (CPI(M)) ने अपने समर्थकों पर लगातार हो रहे हमलों को लेकर राज्य में प्रदर्शन करने की धमकी दी है। माकपा (CPI(M) ने इन हमलों के पीछे भारतीय जनता पार्टी (BJP) के कार्यकर्ताओं को जिम्मेदार ठहराते हुए पुलिस पर शिकायत के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं करने का आरोप लगाया है। पार्टी ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा है कि सत्तारूढ़ पार्टी राज्य में पुलिस को हथियार बनाकर विपक्षी दलों को राजनैतिक गतिविधियां नहीं करने दे रही हैं, जो कि देश के लिए एक गलत उदाहरण है।
माकपा के पूर्व मंत्री और राज्य समिति सदस्य माणिक डे (Manik day) ने आरोप लगाते हुए कहा कि महिला समेत पार्टी के आठ सदस्यों पर दिन में खुलेआम बाहरी अगरतला के पूर्वी क्षेत्र के रानीबाजार के ब्रिंधानगर में रविवार को हमला हुआ, जिनमें से गंभीर रूप से घायल हुए दो लोगों का इलाज अगरतला सरकारी मेडिकल कॉलेज (एजीएमसी) में चल रहा है।
रिपोर्ट के मुताबिक माकपा कार्यकर्ता गीता चक्रवर्ती के घर एकत्र होकर रविवार सुबह पार्टी की गतिविधियों और संस्थान के मुद्दे पर चर्चा कर रहे थे। इसी बीच, बाइक सवार गुट जिनकी पहचान इलाके के शरारती तत्वों के रूप में हुई, उन्होंने घर पर लोहे के डंड़ों और लाठियों से हमला कर दिया, जिसमें घर की मालकिन समेत आठ लोग घायल हो गए।
डे ने कहा कि सभी शरारती तत्व इलाके से विधायक चुनी गईं सूचना मंत्री सुशांता चौधरी के करीबी थे। स्थानीय निवासियों के पीछा करने के बावजूद सभी भागने में कामयाब रहे।
रविवार रात बीमार टिंकू साहा और उनके परिजनों पर शरारती तत्वों ने हमला कर माकपा से अलग होने की चेतावनी दी।
डे ने कहा, "मैने निजी तौर पर पुलिस आयुक्त पश्चिम से आरोपियों के विरूद्ध दायर की गई शिकायत पर जानकारी ली, जिसमें उन्होंने मुझसे कार्रवाई करने का वादा किया, लेकिन 24 घंटों के भीतर आरोपी खुलेआम घूम रहे है और विपक्ष के समर्थकों के लिए खतरा पैदा कर रहें हैं। हम सभी गुंड़ों की तुरंत गिरफ्तारी की मांग करते हैं, अन्यथा पार्टी राज्यभर में प्रदर्शन करेगी।"
उन्होंने भाजपा-आईएफटी सरकार (BJP-IFT Government) पर आरोप लगाते हुए कहा राज्य में साल 2018 से ही जंगल राज चल रहा है। भाजपा के सत्ता में आने के साथ ही रानीरबाजार इलाके में कई हिंसात्मक घटनाएं हुई हैं, माकपा के कार्यालयों को नुकसान पहुंचाया गया, बड़ी संख्या में समर्थकों को पीटा गया, कई पार्टी कार्यकर्ताओं को घर छोड़ना पड़ा और वे अब तक घर नहीं लौटे, जो लोकतंत्र के खिलाफ है।
उन्होंने कहा कि वर्ष 2018 में चुनाव जीतने के बाद त्रिपुरा में भाजपा के गुंड़ों ने 514 पार्टी कार्यकर्ताओं पर हमला किया, माकपा समर्थकों के 1539 घरों को नुकसान पहुंचाया और लूटा गया, 196 घरों को नष्ट किया गया, 134 पार्टी कार्यालयों को तबाह कर दिया गया और 64 में आग लगा दी।
वर्ष 2018 में बिपल्ब कुमार देव के नेतृत्व में सरकार बनने के बीच माकपा के 298 पार्टी कार्यालयों पर भाजपा ने कब्जा कर लिया और अन्य बड़े संस्थान ने अपने 38 कार्यालय छोड़ कर चले गये। माकपा ने आरोप लगाते हुए कहा कि सभी मामलों में संबंधित एफआईआर दर्ज करने के उपरांत किसी भी मामले में कोई कार्रवाई नहीं हुई है।
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