राजस्थान

हम सबका ध्येय 2023 में राजस्थान में दोबारा कांग्रेस की सरकार बने: सचिन पायलट

Renuka Sahu
11 Oct 2022 2:53 AM GMT
We all aim to form the Congress government again in Rajasthan in 2023: Sachin Pilot
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न्यूज़ क्रेडिट : aapkarajasthan.com

राजस्थान में चल रहे सियासी संकट के बीच पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट अपने एक दिवसीय दौरे पर झालावाड़ा पहुंचे है।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। राजस्थान में चल रहे सियासी संकट के बीच पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट अपने एक दिवसीय दौरे पर झालावाड़ा पहुंचे है। सचिन पायलट जयपुर रेलवे स्टेशन से कोटा पहुंचे। इस दौरान बड़ी संख्या में जुटे कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने उनका स्वागत किया है। कोटा स्टेशन पर मीडिया से बातचीत करते हुए पायलट ने कहा कि हम कार्यकर्ताओं की मेहनत के कारण सत्ता में आए हैं। उस समय मैं पीसीसी का चीफ था और हमने संघर्ष किया था। हमने हाड़ौती क्षेत्र में किसान और गरीबों के लिए संघर्ष किया है। पायलट ने कहा कि हम सबका सामूहिक दायित्व है कि आम जनता, कांग्रेस कार्यकर्ता, किसान व नौजवान की उम्मीदों पर खरा उतरें। उस दिशा में मिलकर काम कर रहे हैं। हम सबका ध्येय है कि 2023 में दोबारा कांग्रेस की सरकार बने।

सचिन पायलट ने उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और पूर्व रक्षा मंत्री मुलायम सिंह के निधन पर शोक जताने के साथ श्रद्धांजलि व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि मुलायम सिंह ने अपने पूरे जीवन में जनता के लिए काम किया है। उन्होंने गरीब, किसान और पिछड़ों की बात को उठाया है। उनके जाने से हम सब को क्षति पहुंची है. मैं कामना करता हूं कि भगवान उनकी आत्मा को शांति दे और परिजनों को संबल प्रदान करें। रेलवे स्टेशन पर हाड़ौती के एक दर्जन से ज्यादा नेता अपने समर्थकों के साथ पहुंचे थे। ये सभी टिकट की मांग कर रहे थे। कार्यकर्ता हाथों में विधानसभा क्षेत्र से प्रतिनिधित्व देने की मांग करते हुए अपने नेताओं के पोस्टर-बैनर लिए हुए थे।
रेलवे स्टेशन के अंदर और बाहर पायलट समर्थकों की भारी भीड़ मौजूद थी. भीड़ के चलते यात्रियों को स्टेशन पर असुविधा हुई है। वहीं गाजीपुर बांद्रा और जोधपुर इंदौर इंटरसिटी एक्सप्रेस के यात्रियों को खासी परेशानी का सामना करना पड़ा है। प्लेटफार्म पर भारी संख्या में कांग्रेस के कार्यकर्ता पहुंच चुके थे जिससे ट्रेन तक पहुंचने में बुजुर्ग यात्रियों को काफी दिक्कत हुई है। स्टेशन पर आरपीएफ, जीआरपी और स्थानीय पुलिस भीड़ कंट्रोल करने के लिए मशक्कत करती दिखी है। आरपीएफ के जवानों के साथ ही अधिकारियों ने भी यात्रियों के सामान उतारने में उनकी मदद की है।
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