उदयपुर: उदयपुर नगर निगम की विरासत संरक्षण समिति की बैठक में कई विषयों पर चर्चा की गई। बैठक में तय किया गया कि लेकसिटी में पहले जो हैरिटेज वॉक् होती है उसे फिर शुरू किया जाएगा। साथ ही शहर के पुराने दरवाजों के संरक्षण के लिए उन पर नजर रखी जाएगी और उनको बदसूरत नहीं होने दिया जाएगा। निगम में समिति अध्यक्ष मदन दवे की अध्यक्षता में हुई बैठक में डिप्टी मेयर पारस सिंघवी सहित सदस्यों ने भी विचार रखे। दवे ने बताया कि बैठक में समिति सदस्यों द्वारा सर्वसम्मति से निर्णय किया कि नगर निगम क्षेत्र के पुराने दरवाजों पर निजी या सरकारी विज्ञापन नहीं लगाए जाएंगे, कई बार विज्ञापन लगाने वाले लोगों द्वारा ऐतिहासिक धरोहरों के साथ छेड़छाड़ की जाती है, उस दौरान भारी किले या ड्रिल मशीन द्वारा दीवारों को खोद दिया जाता है जिसको लेकर शहरवासियों ने विरोध भी दर्ज करवाया है।
बैठक में सिंघवी ने निर्देश दिए कि अब से किसी भी प्रकार से दरवाजों पर सरकारी या निजी कंपनियों के विज्ञापन नहीं लगाया जाए। यदि निर्देश की पालना में कोई लापरवाही की जाती है तो निगम द्वारा सख्त कार्रवाई अमल में लाई जाए। बैठक में समिति अध्यक्ष दवे ने सभी को अवगत कराया कि निगम द्वारा कुछ समय पूर्व हेरीटेज वॉक शुरू करवाई गई थी लेकिन कई समय से वह बंद है। पर्यटन विभाग व जिला प्रशासन से इसे पुनः शुरू करवाने पर अभी परिणाम नहीं आए ऐसे में अब नगर निगम अपने स्तर पर हेरीटेज वॉक शुरू करवा कर पर्यटकों को शहर के आंतरिक क्षेत्र की जानकारी देगा।
समिति सदस्य महेश त्रिवेदी एवं रुचिका चौधरी ने जगदीश चौक पुरानी लाइब्रेरी वाले परिसर में म्यूजियम खोलने का प्रस्ताव रखा, जिससे उदयपुर में आने वाले पर्यटक हमारे संस्कृति को निहार सके एवं नगर निगम को भी आय प्राप्त हो सके। जल्द ही महापौर गोविंद सिंह टाक को इसका प्रस्ताव बनाकर भेजा जाएगा एवं अग्रिम कार्रवाई प्रारंभ की जाएगी।बैठक में समिति सदस्य चंद्रप्रकाश सुहालका एवं मीरा मीणा ने सुझाव दिया कि लाल घाट पर नगर निगम की भूमि पर सायंकाल को सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाए जिससे वहां पर आने वाले पर्यटकों का मनोरंजन हो सके। सिंघवी ने सुझाव का समर्थन किया एवं अग्रिम कार्रवाई करने के निर्देश समिति अध्यक्ष मदन दवे को दिए। दवे ने सुझाव दिया कि स्मार्ट सिटी द्वारा वॉल सिटी भीतर जगह जगह विद्युत पैनल लगाए हैं उन पैनल पर पारंपरिक चित्रकारी करवाई जाएगी जिससे वह आकर्षक लगे।