वैसे विश्व प्रसिद्ध केदारनाथ पीठ उत्तराखंड में स्थित है, जिसकी राह बहुत कठिन है। लेकिन, जो भक्त केदारनाथ नहीं जा पाते, वे जयपुर स्थित केदारनाथ मंदिर में भगवान शिव की पूजा करते हैं। इस मंदिर का रास्ता भी बहुत कठिन है। साथ ही यह मंदिर करीब 1000 फीट ऊंची पहाड़ी पर स्थित है। यह मंदिर एक हजार साल पुराना है जयपुर के जगतपुरा के खो नागोरियान में स्थित रहस्यमय भगवान केदारनाथ शिव मंदिर, जो अरावली पर्वतमाला के लिनरी पहाड़ी शिखर पर 1000 फीट की ऊंचाई पर जयपुर का सबसे ऊंचा और लगभग 1000 साल पुराना मंदिर है। यह मंदिर चारों तरफ से पहाड़ी से घिरा हुआ है। यहां का मनमोहक दृश्य भोलेनाथ के भक्तों को यहां खींच लाता है।
केदारनाथ मंदिर का संचालन उत्तराखंड के लोग करते हैं
पहाड़ी की चोटी पर पहुंचना आसान नहीं है। यहां भक्तों को भोलेनाथ के दर्शन के लिए खड़ी पहाड़ी पर चढ़ना पड़ता है। यहां सीढ़ियां नहीं हैं, चट्टानी और घने जंगल से होकर मंदिर तक पहुंचना पड़ता है, जो किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं है। इस मंदिर की सार-संभाल उत्तराखंड के केदारनाथ मंदिर की समिति द्वारा की जाती है। श्रावण माह में केदारनाथ शिव मंदिर में दूर-दूर से भक्त कांवर लेकर आते हैं, पहाड़ी रास्ता दुर्गम होने के बावजूद भी भोलेनाथ के भक्त कांवर लाते हैं। मंदिर जाते समय सावधान रहें अगर आप भगवान केदारनाथ शिव मंदिर के दर्शन करना चाहते हैं तो आपको अपने साथ पानी की बोतल जरूर रखनी चाहिए। क्योंकि इतनी ऊंचाई पर जाने पर दर्रे को पानी की जरूरत पड़ सकती है. पहाड़ी पर जंगली जानवरों का भी खतरा रहता है. इस कारण से हमेशा लकड़ी साथ रखें और दिन में जितना संभव हो सके घूमें और सूर्यास्त से पहले लौट आएं।