राजस्थान

बाल श्रम उन्मूलन अभियान के संचालन के लिए दिए आवश्यक निर्देश 1 से 30 जून तक चलेगा अभियान

Tara Tandi
1 Jun 2023 11:49 AM GMT
बाल श्रम उन्मूलन अभियान के संचालन के लिए दिए आवश्यक निर्देश 1 से 30 जून तक चलेगा अभियान
x
राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण जयपुर के निर्देशानुसार गुरुवार को जिला विधिक सेवा प्राधिकरण जोधपुर महानगर के सभागार में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण जोधपुर महानगर एवं जोधपुर जिला के सचिव श्री सुरेन्द्र सांदु तथा सचिव श्रीमती पूर्णिमा गौड़ द्वारा संयुक्त रूप से महिला एवं बाल विकास विभाग, पुलिस एवं श्रम विभाग के अधिकारीगण के साथ एक संगोष्ठी का आयोजन कर महत्वपूर्ण निर्देश प्रदान किये गये ।
सचिव श्री सांदू ने बताया कि 1 से 30 जून तक आयोजित होने वाले बाल श्रम उन्मूलन अभियान के उपलक्ष्य में भारत के विभिन्न राज्यों में विशेष रूप से रेलवे स्टेशनों, रेलवे रोड़ (1 किलोमीटर के दायरे के भीतर) के क्षेत्रों बाल श्रम का संभावित प्रसार करने तथा ध्यान केंद्रित करते हुए एक रेस्क्यू प्लान बनाने एवं अभियान की पूर्व आवश्यक तैयारियों एवं गतिविधियों को लेकर संगोष्ठी में उपस्थित अधिकारीगण से विचार-विमर्श किया गया।
सचिव श्रीमती गौड ने बताया कि अगर व्यावसायिक उद्देश्य से किए जा रहे किसी कार्य के लिए 14 साल से कम उम्र के बच्चे को नियुक्त किया जाता है तो वह बाल श्रम कहलाता है। इसे भारत में गैर कानूनी करार दिया गया है। भारत के संविधान में मूल अधिकारों के अनुच्छेद 24 के तहत भारत में बाल श्रम पर पाबंदी लगाई गई है। कानून को प्रभावी तरीके से लागू किया जाना बेहद आवश्यक है। दरअसल, बच्चों से काम लेने के पीछे नियोक्ताओं की मंशा कम पैसे में अधिक समय के लिए उनसे श्रम लेने की होती है। इसी को उनके शोषण की श्रेणी में रखा गया है। नियोक्ता की इस सोच को खत्म किए जाना बेहद जरूरी है और इसके लिए आवश्यक है कि नियोक्ताओं पर नकेल कसी जाए। बाल श्रम को बढ़ावा देने वाली हर स्थिति को देखते हुए कानून का इतना प्रभावी क्रियान्वयन किया जाए कि कोई बाल श्रम कराने से पहले दो बार सोचने के लिए मजबूर हो जाए।
इस संगोष्ठी में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) श्री कैलाश दान जुगतावत, प्रभारी अधिकारी श्रम विभाग श्री हितेश चौधरी, प्रभारी अधिकारी महिला एवं बाल विकास विभाग श्रीमती साधना खन्ना उपस्थित थे।
Next Story