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धौलपुर। धौलपुर शहर में तीन दिन हुई लगातार बरसात और जलभराव ने असर दिखाना शुरू कर दिया है। शहर में मच्छरों का प्रकोप यकायक बढ़ गया है। लोग बुखार व डेंगू की चपेट में आ रहे हैं और मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। जिले में डेंगू के मरीजों की संख्या बढकऱ 123 पहुंच गई है। हालांकि, प्रदेश स्तर पर ग्राफ में इनकी संख्या कम दिखाई जा रही है। इसकी वजह समय से अपडेट नहीं होना बताया जा रहा है। उधर, नगर परिषद प्रशासन शहरवासियों को मच्छरों से निजात दिलाने का दावा कर रहा है। लेकिन ये दावा सिर्फ कागजों तक ही सीमित है। अधिकांश कॉलोनियों में हुए जलभराव से लोग परेशान हैं। हाल ये है कि कई इलाकों में अधिकारियों के सुध नहीं लेने से लोगों में नगर परिषद के खिलाफ खासा आक्रोष है। इसको लेकर राजाखेड़ा बाइपास पर गुस्साएं लोगों ने नारे लगा जमकर प्रदर्शन किया था। उधर, स्वास्थ्य का कहना है कि नगर परिषद का सफाई मामले में सहयोग नहीं मिल रहा है। जिस पर अब विभाग की ओर से छिड़काव कार्य कराया जाएगा।
शहर के वार्डों की साफ सफाई और मच्छरों से निजात दिलाने की जिम्मेदारी नगर परिषद की है। वार्डों में बारिश के दौरान खाली भूखंडों में जलभराव होने से मच्छर तेजी से पनप रहे हैं। इससे लोग मच्छर जनित बीमारियों का शिकार हो रहे हैं। लेकिन अभी तक फॉगिंग व एंटी लार्वा गतिविधियां केवल कागजों तक ही सीमित है। हालांकि चिकित्सा विभाग का दावा है कि शहर में विभागीय स्तर पर एंटी लार्वा गतिविधियां की जा रही है। लेकिन शहर में बढ़ते डेंगू के मामलों के बाद यहां भी लोगों की चिंता बढ़ती जा रही है। मच्छर जनित बीमारियों के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। उधर, प्रशासन के आला अधिकारी केवल बैठकों में ही स्वास्थ्य विभाग व प्रशासन को निर्देश देने तक सीमित हैं। जमीनी स्तर पर मॉनिटरिंग नहीं हो पा रही है। शहर में डंक मार रहा डेंगू अब ग्रामीण क्षेत्रों तक पहुंच चुका है। जिसके बाद उपखण्ड प्रशासन और न ही जिला स्तरीय अधिकारी बीमारी को लेकर कोई सतर्कता दिखा रहे हैं।
नगर परिषद प्रशासन भी अपनी जिम्मेदारी से दूर है। मलेरिया प्रभारी डॉ.चेतराम मीणा ने बताया कि डेंगू से बचाव के साथ ही मौसमी बीमारियों से लोगों को बचाव को लेकर स्थानीय स्तर पर चिकित्सा विभाग की ओर से पूरी सतर्कता बरती जा रही है। एंटी लार्वा गतिविधियों के साथ घर-घर जाकर जांच की जा रही है। पानी भराव नहीं होने देने को लेकर लोगों को जागरूक किया जा रहा है। फॉगिंग के लिए नगर परिषद के अधिकारियों को पत्र लिखा गया है। शहर में जलभराव होने वाले वार्डों की सूची स्वास्थ्य विभाग ने नगर परिषद को दी है। लेकिन अभी तक उन कॉलोनियों में न तो फॉगिंग हुई, न ही दवा का छिडक़ाव हुआ। शाम होते ही मच्छरों का प्रकोप शुरू हो जाता है। इस कॉलोनियों में भूखण्डों में पानी भरा हुआ है। जिनमें परशुराम कॉलोनी, शिवनगर पोखरा, दारा सिंह नगर, हुण्डावाल नगर, शास्त्री कॉलोनी, मोहन कॉलोनी, ओंडेला रोड, अम्बेडकर नगर, गौशाला, लीला विहार, मदीना कॉलोनी, बटऊपुरा, भोगीराम नगर, गुरमेल कॉलोनी, कृष्णा कॉलोनी, आनंद नगर, अयोध्या कुंज, सैंपऊ रोड, पुलिस लाइन के सामने कॉलोनी, ओंडेला रोड, रीको एरिया आदि स्थानों की सूची नगर परिषद को दी जा चुकी है।
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