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कोटा। कोटा में कोचिंग स्टूडेंट्स के सामने सबसे ज्यादा परेशानी बीमारी के समय आती है। बच्चा अकेला होता है और ऐसे में उसे डॉक्टर से चैकअप से लेकर एडमिट होने तक काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। हाल में ही कोटा में कोचिंग स्टूडेंट्स के आत्महत्या के बढ़ते मामलों को लेकर प्रशासन ने भी मीटिंग ली थी। जिसमें बच्चों के लिए हेल्थ कैंप और देखरेख संबंधी दिशा निर्देश दिए थे। कोटा में पीडब्लू विद्यापीठ की तरफ से हेल्थ चैकअप कैंप का आयोजन किया गया। कैंप में कोचिंग स्टूडेंट्स को फ्री चैकअप और इलाज की सुविधा दी गई। यहां बड़ी संख्या में बच्चे अपनी सेहत की जांच करवाने पहुंचे। ज्यादातर बच्चे बुखार, खांसी जैसी समस्या से पीड़ित थे जिन्हें मौके पर ही जांच के बाद दवा दी गई।
पीडब्लू विद्यापीठ के हैड दिनेश जैन ने बताया कि एक हजार से ज्यादा बच्चों को कैंप का फायदा मिलेगा। इसके अलावा अस्पतालों से भी टाईअप किया गया है, जिसमें बच्चे को सीधा अस्पताल जाकर भी बेहतर इलाज मिल सकता है। इस तरह के हेल्थ कैंप लगातार आयोजित किए जाएंगे । वहीं कोटा में मौसमी बीमारियों के मरीजों की अस्पतालों में भीड़ लगी हुई है। ओपीडी में बड़ी संख्या में सर्दी, जुकाम, बुखार के मरीज पहुंच रहे हैं। कोटा के न्यू मेडिकल कॉलेज और एमबीएस अस्पताल के ओपीडी में ज्यादातर मरीज मौसमी बीमारियों के ही पहुंच रहे हैं।
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