मणिपुर कैडर के 2020 बैच के आईपीएस अधिकारी और कोटपूतली के जयसिंहपुरा गांव के निवासी सुनील कुमार धनवंत (26) घोड़ी पर सवार होकर शादी की रस्मों की अदायगी के लिए बारात के साथ हरियाणा पहुंचे.
जयपुर: दलितों के भीतर असुरक्षा का भाव इस कदर व्याप्त है कि अनुसूचित जाति के आम लोग ही नहीं बल्कि ऊंचे पदों पर बैठे लोगों को भी इसका अहसास होता है. ऐसा ही कुछ वाकया जयपुर के ग्रामीण जिले में देखने को मिला, जब एक अनुसूचित जाति के आईपीएस अफसर को ही अपनी बारात पुलिस सुरक्षा के साये में निकालनी पड़ी. ऊंची जाति के लोगों की ओर से दलितों द्वारा बारात निकालने का विरोध किए जाने की पुरानी घटनाओं को देखते हुए जयपुर ग्रामीण में एक दलित आईपीएस अधिकारी की बारात पुलिस सुरक्षा में निकाली गई.
कोटपूतली के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक विद्याप्रकाश ने बताया कि मणिपुर कैडर के 2020 बैच के आईपीएस अधिकारी और कोटपूतली के जयसिंहपुरा गांव के निवासी सुनील कुमार धनवंत (26) घोड़ी पर सवार होकर शादी की रस्मों की अदायगी के लिए बारात के साथ हरियाणा पहुंचे.
विद्याप्रकाश ने कहा कि एहतियात के तौर पर सुरक्षा के इंतजाम किए गए थे. इससे पहले धनवंत मंगलवार को पास के सूरजपुरा गांव में 'बिंदौरी' समारोह के तहत भी पुलिस की निगरानी में घोड़ी पर सवार होकर आयोजन स्थल पर पहुंचे थे. पुलिस अधीक्षक (जयपुर ग्रामीण) मनीष अग्रवाल के मुताबिक, दूल्हे ने अपनी शादी के बारे में प्रशासन को पहले ही सूचित कर दिया था और किसी भी अप्रिय घटना को टालने के लिए जरूरी इंतजाम किए गए थे.