राजस्थान

लोक गायक पद्मश्री अनवर खान के परिवार की खुशी बेठिकाना..उनके इंतजार में परिजन गा रहे 'पधारो म्हारे देस'

Shantanu Roy
9 Nov 2021 12:35 PM GMT
लोक गायक पद्मश्री अनवर खान के परिवार की खुशी बेठिकाना..उनके इंतजार में परिजन गा रहे पधारो म्हारे देस
x
धोरों की धरती के लोक गायक अनवर खान को कल राष्ट्रपति भवन में आयोजित एक समारोह में राष्ट्रपति से पद्मश्री अवार्ड मिला. अवार्ड मिलने की खुशी अनवर के परिवार से संभाले नहीं संभल रही है.

जनता से रिश्ता। धोरों की धरती के लोक गायक अनवर खान को कल राष्ट्रपति भवन में आयोजित एक समारोह में राष्ट्रपति से पद्मश्री अवार्ड मिला. अवार्ड मिलने की खुशी अनवर के परिवार से संभाले नहीं संभल रही है. परिवार की खुशी का कोई ठिकाना नहीं है. पद्मश्री अनवर खान का परिवार अनवर के लौटने का इंतजार कर रहा है. इस इंतजार में भी लोकगीत की सरगम भरी जा रही हैं. सोमवार को पश्चिमी राजस्थान के लोक कलाकार अनवर खान को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने पद्मश्री से सम्मानित किया था. इसके बाद अनवर खान के परिवार की खुशी का कोई ठिकाना नहीं है परिवार के लोग लोकगीत गाकर पद्मश्री अनवर खान का इंतजार कर रहे हैं.

लंबे संघर्षों के बाद 55 देशों की यात्रा सहित अब तक सैकड़ों पुरस्कारों से नवाजे गए अनवर खान को पद्मश्री अवार्ड से सोमवार को सम्मानित किया गया. इसके बाद से ही लगातार बाड़मेर जैसलमेर ही नहीं पश्चिमी राजस्थान में खुशी की लहर है. पद्मश्री अनवर खान की पत्नी बताती हैं कि अनवर ने 8 साल की उम्र में ही लोक कला को अपना हुनर बना लिया था, इसके बाद से ही वे लोक कला के माध्यम से राजस्थान, देश और विश्व में कई स्थानों पर फोक म्यूजिक से लोगों को रूबरू करा चुके हैं.अनवर खान की पत्नी ने कहा कि इस पल का हमें लंबे समय से इंतजार था. आज वह इंतजार खत्म हुआ. मेरे पति को पद्मश्री का अवार्ड मिला है. मेरी खुशी का कोई ठिकाना नहीं है. यह लोगों के स्नेह और आशीर्वाद का ही नतीजा है.
पद्मश्री अनवर खान के भतीजे हयात खान बताते हैं कि उस्ताद अनवर खान फोक म्यूजिक और हमारी परंपराओं को बचाने के लिए लंबा संघर्ष करते रहे हैं. वे हमें इस लोक कला को आगे बढ़ाने के लिए प्रेरित करते रहते हैं. वे हमारे उस्ताद हैं. हमारी खुशी का कोई ठिकाना नहीं है. इसीलिए हम उनके इंतजार में लोक गीत गा रहे हैं.
पद्मश्री अनवर खान के घर के पास रहने वाले पार्षद प्रतिनिधि नरपत धारा बताते हैं कि जब से हमने यह खबर सुनी है तब से मिठाइयों के साथ ही पटाखे फोड़े जा रहे हैं क्योंकि हमारे उस्ताद को इतना बड़ा सम्मान मिला है, अब बस हम उस्ताद का इंतजार कर रहे हैं.


Next Story