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टोंक। टोंकबनथली बनास क्षेत्र के गांवों के ग्रामीणों को बजरी रायल्टी फ्री करने की मांग को लेकर सोमवार की सुबह ग्रामीणों ने जयपुर-कोटा राष्ट्रीय राजमार्ग के समीप संथाली मोड़ पर जाम लगा दिया. पुलिस अधिकारी द्वारा बजरी पट्टाधारक से बात कर समस्या के समाधान का आश्वासन देने के बाद जाम हटाया गया। करीब 6 घंटे तक चले प्रदर्शन के दौरान बजरी लेकर व भरने जा रहे 60 से अधिक वाहन जाम में फंस गए। पट्टाधारक करीब 6 माह से राजमहल से भरनी तक बनास नदी में बजरी का खनन कर रहा है। लंबे समय से बनास नदी के आसपास रहने वाले ग्रामीण अपनी ट्रैक्टर ट्रॉलियों को रायल्टी मुक्त करने की मांग कर रहे हैं. लेकिन पट्टाधारक इसके लिए तैयार नहीं हैं।
बजरी को रायल्टी मुक्त करने और बारी से बनास जाने वालों की मांग को लेकर लाला राम गुर्जर, देशराज गुर्जर, देशराज केवट, बाबूलाल कोली सहित संथाली, गांधीग्राम, अकोदिया, नेगड़िया गांव ग्रामीण राजमार्ग पर बड़ी संख्या में संथाली मोड़ पहुंचे. नदी किनारे सड़क जाम कर प्रदर्शन करना शुरू कर दिया। ग्रामीणों का कहना है कि संथाली गांव बनास नदी से सटा हुआ है. बनास का रास्ता हमारे पंचायत क्षेत्र से होकर जाता है। ऐसे में हमारे पास बजरी से भरी ट्रैक्टर ट्रॉली रॉयल्टी फ्री होनी चाहिए। जाम के कारण बनास नदी से बजरी भरकर हाईवे पर आने वाले वाहन जाम में फंस गए। नदी की ओर जाने वाले वाहन हाईवे के किनारे खड़े हो गए।
जाम की सूचना पर दूनी थानाध्यक्ष विजयसिंह मीणा मय जाब्ते पहुंचे। जहां उन्होंने करीब 2 घंटे तक ग्रामीणों को समझाया। बजरी पट्टाधारक से बात कर समस्या के समाधान का आश्वासन दिया। जिसके बाद ग्रामीण दोपहर करीब एक बजे सड़क से जाम हटाने को तैयार हुए। जिसके बाद वाहनों की आवाजाही शुरू हो गई। बजरी पट्टा धारक कंपनी इनार्क प्रदीप सिंह का कहना है कि अगर ग्रामीण अपने गांव में बजरी वाहनों से ले जाते हैं तो बजरी रॉयल्टी फ्री होगी। लेकिन उनके वाहन गांव से बाहर जाने पर रायल्टी ली जाएगी।

Admin4
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