कोटा: कोटा बारिश के साथ ही मौसमी बीमारी के रोगियों की संख्या बढ़ रही है। शहर की सीएचसी में रोज का आउटडोर पिछले 15 दिनों में 150 बढ़कर 550 पहुंच चुका है। इस कारण अस्पताल में पर्ची लेने, डॉक्टर को दिखाने, पर्ची पर नंबर डलवाने और फिर दवाइयां लेने में एक मरीज को 2.30 घंटे तक का समय लग रहा है। पिछले 6 दिन में 3360 ओपीडी हो चुकी है।
टीम ने बुधवार को अस्पताल पहुंचकर पड़ताल की। इसकी बड़ी वजह यह निकलकर सामने आई कि अस्पताल का समय सुबह 8 से दोपहर 2 बजे तक का है, लेकिन जांच के लिए सैंपल लेने का समय दोपहर 12 बजे तक का ही है, काउंटर बंद हो जाता है। इस वजह से सुबह 11 बजे तक भीड़ ज्यादा हो जाती है। इससे कतारों में लंबी लाइनें लगती हैं और मरीजों की परेशानी बढ़ती है। पिछले 15 दिनों में यहां सैंपल देने वाले मरीजों की संख्या भी 20 बढ़ गई है। पहले 60 सैंपल लिए जा रहे थे, जो अब 80 तक पहुंच गए हैं। इस बारे में जब ब्लॉक चिकित्सा अधिकारी डॉ. रईस खान से बात की गई तो उन्होंने कहा कि अब जांच सैंपल लेने का समय 2 घंटे बढ़ाएंगे।
एक ही कमरे में 3 डॉक्टर परामर्श दे रहे थे। कमरे में बेतरतीब रूप से रोगी खड़े हुए थे। परामर्श के लिए लगी हुई रोगियों की लाइन कमरे के बाहर तक थी। मौके पर रोगियों से बातचीत करने पर सामने आया कि एक रोगी को परामर्श लेने में करीब 45 मिनट तक लग रहे हैं। ऐसे में कई रोगियों की जगह तो तीमारदार लाइन में लगे हुए थे, ताकि कतार में खड़े रहकर रोगियों की तबीयत अधिक न बिगड़े।
रोगियों ने बताया कि पहले 35 मिनट तक लाइन में लगकर नंबर डलवाने पड़ते हैं। इसके बाद 45 मिनट तक लाइन में लगकर दवाइयां लेनी पड़ती हैं। इसमें काफी समय लगता है। ^ बारिश और मौसम से रोगियों की संख्या बढ़ गई है। इस कारण परामर्श और दवाइयां लेने में समय लग रहा है। रोगियों की सुविधा के लिए जांच के लिए सैंपल का समय 2 घंटे तक बढ़ाया जाएगा, ताकि रोगियों को राहत मिले। 5 दिनों से खराब सीबीसी मशीन को भी ठीक करा दिया गया है।