राजस्थान

वसुंधरा राजे और सतीश पूनियां के बीच चल रहे टकराव को टालने आ रहे अमित शाह? केंद्रीय गृहमंत्री पांच को जयपुर पहुंचेंगे

Renuka Sahu
3 Dec 2021 5:48 AM GMT
वसुंधरा राजे और सतीश पूनियां के बीच चल रहे टकराव को टालने आ रहे अमित शाह? केंद्रीय गृहमंत्री पांच को जयपुर पहुंचेंगे
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फाइल फोटो 

गृहमंत्री अमित शाह 5 दिसंबर को जयपुर दौरे पर पहुंच रहे हैं। इस दौरान अमित शाह विभिन्न जनप्रतिधियों को संबोधित करेंगे।

जनता से रिश्ता वेबडेस्क। गृहमंत्री अमित शाह 5 दिसंबर को जयपुर दौरे पर पहुंच रहे हैं। इस दौरान अमित शाह विभिन्न जनप्रतिधियों को संबोधित करेंगे। इन जनप्रतिनिधियों में पंचायत स्तर से लेकर सांसद विधायक तक शामिल होंगे। वैसे भले ही इसे किसी भी तरह प्रचारित किया जा रहा हो, लेकिन हालांकि अंदरखाने सच यही है वह राज्य में भाजपा नेताओं के बीच बढ़ती खाई को पाटने के लिए यहां आ रहे हैं। खासतौर पर पूर्व सीएम वसुंधरा राजे और राज्य के अन्य नेताओं के बीच बढ़ता मतभेद यहां पार्टी के लिए तनाव का विषय बना हुआ है।

राजे से पूनिया खुश नहीं
बताया जा रहा है कि राजस्थान भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनियां भी वसुंधरा राजे की गतिविधियों से खुश नहीं हैं। बिना राज्य के वरिष्ठ भाजपा नेताओं को विश्वास में लिए राजे ने हाल ही में अपनी धार्मिक यात्रा निकाली थी। इसको लेकर पार्टी में जो कुछ चल रहा है उसपर पार्टी हाईकमान पूरी तरह से नजर रखे हुए है। पूनियां का गुट इस मामले में वसुंधरा राजे और उनके समर्थकों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। वहीं शीर्ष पार्टी नेतृत्व की तरफ से नेताओं को सभी मतभेद भुलाकर बेहतर काम करने का संदेश दिया जा चुका है।
गुटबाजी से बचने का प्रयास
एक वरिष्ठ भाजपा नेता ने नाम न छापने की शर्त पर बताया कि भाजपा नेतृत्व की तरफ से यह संदेश पहले ही दिया जा चुका है। इसमें साफ कहा गया है कि पार्टी कभी भी गुटबाजी और आपसी मतभेद को पसंद नहीं करेगी। इसलिए नेताओं को आपस में विचार-विमर्श करके मतभेदों को सुलझाना होगा। ऐसे में तय है कि शाह भी इस मामले को लेकर पार्टी नेताओं से बातचीत करेंगे। साथ ही वह सभी को पार्टी लाइन के हिसाब से चलने का निर्देश भी देंगे।
जमकर हुई है नारेबाजी
सूत्रों के मुताबिक पार्टी राजे और पूनियां गुट के बीच चल रहे टकराव को लेकर चिंतित है। इसके चलते पार्टी कार्यकर्ताओं में मतभेद की स्थिति पैदा हो रही है। इससे राज्य में पार्टी को नुकसान भी हो रहा है। हालिया विधानसभा उपचुनाव में पार्टी के खराब प्रदर्शन को इसी मतभेद का नतीजा बताया जा रहा है। पूनिया और राजे दोनों खेमों की गतिविधियों से भी पार्टी नेतृत्व नाराज बताया जा रहा है। गौरतलब है कि हाल ही में राजे के समर्थकों ने 'पूनियां भगाओ, भाजपा बचाओ' का नारा दिया था। वहीं पूनियां समर्थकों ने 'हमारा सीएम कैसा हो, सतीश पूनियां जैसा हो' का नारा दिया था।
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