राजस्थान

आबूरोड में ब्रह्माकुमारीज संस्थान के शांतिवन में आध्यात्मिक कार्यक्रम हुआ आयोजित

Shantanu Roy
18 Feb 2023 10:07 AM GMT
आबूरोड में ब्रह्माकुमारीज संस्थान के शांतिवन में आध्यात्मिक कार्यक्रम हुआ आयोजित
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सिरोही। आबू रोड स्थित ब्रह्माकुमारीज संस्थान के शांतिवन में शुक्रवार को आध्यात्मिक कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इसमें तेरापंथ संप्रदाय के आचार्य श्री महाश्रमण मनीषी अपनी मंडली के साथ पहुंचे। इस दौरान उन्होंने डायमंड हॉल में राजस्थान राज्य भर से आए लोगों को संबोधित करते हुए कहा कि हमारा जीवन दो तत्वों का योग है। एक तत्व आत्मा है, दूसरा तत्व शरीर है। हमारा जीवन आत्मा और शरीर का मिश्रण है। जहाँ केवल आत्मा है और शरीर नहीं है, वहाँ जीवन नहीं हो सकता। तेरापंथ संप्रदाय के आचार्य श्री महाश्रमण मनीषी ने कई देशों की पैदल यात्रा की है। आचार्यश्री ने कहा कि पिछले कई वर्षों से ब्रह्माकुमारीज़ परिवार के सदस्य हमारे पास आते रहे हैं, लेकिन आज हम ब्रह्माकुमारीज़ परिवार में आ गए हैं। मैं ऐसे कई केंद्रों पर गया हूं, लेकिन पहली बार मुख्यालय आने का सौभाग्य मिला है। मैं अपने जैन धर्म में सद्भावना की बात करता हूं, लेकिन मुझे ब्रह्म कुमारियों के भाई-बहनों में सद्भावना का जीता-जागता उदाहरण मिलता है। आप बहुत उदारता से मिलते हैं, बातें करते हैं, अपने साथ उपहार भी लाते हैं। उदारता की मिसाल हैं ब्रह्माकुमारी भाई-बहन। हमारे गुरुदेव बहुत पहले माउण्ट आबू आये थे।
आज सौभाग्य प्राप्त हुआ है। भारतीय परंपरा रही है ऋषि परंपरा - साध्वी विश्रुत विभा साध्वी प्रमुखमा विश्रुत विभा ने कहा कि भारत की परंपरा ऋषि परंपरा रही है। आचार्यश्री 30 साल पहले माउंट आबू आए थे। वहां उन्होंने योग, ध्यान के बारे में चर्चा की। भारतीय परंपरा में, लक्ष्य शांति प्राप्त करना रहा है। लक्ष्य सत्ता हासिल करना है। लक्ष्य मोक्ष प्राप्त करना है। भारतीय परंपरा में ऐसे कई रास्ते बताए गए हैं, जिन पर चलकर आप अपने लक्ष्य तक पहुंच सकते हैं। राजयोग में भी अध्यात्म और ध्यान पर अधिक बल दिया गया है। ब्रह्माकुमारी बहनें ध्यान के द्वारा अपने लक्ष्य तक पहुँच सकती हैं। इस अवसर पर संस्थान के मीडिया प्रभाग के अध्यक्ष बीके करुणा, कार्यकारी सचिव बीके डॉ. मृत्युंजय ने कहा कि आज का दिन महान है कि तेरापंथ संप्रदाय के आचार्यश्री शांतिवन का आगमन हुआ है. ब्रह्माकुमारीज़ परिवार आपका हार्दिक स्वागत करता है। आप जैसे लोग समाज में सामाजिक समरसता लाने के लिए जी जान से काम कर रहे हैं। ब्रह्माकुमारीज संस्थान का भी यही उद्देश्य है। राजयोग की वरिष्ठ शिक्षिका बीके डॉ. सविता ने कहा कि राजयोग ध्यान ने आज लाखों लोगों के जीवन को पूरी तरह से बदल दिया है। संस्थान का मुख्य शिक्षण राज योग ध्यान है। परमपिता परमात्मा ही आकर हमको पढ़ा रहे हैं। इस मौके पर सभागार में बीके शील, बीके फूल, बीके गीता सहित पांच हजार से अधिक लोग मौजूद रहे।
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