जयपुर: राजस्थान में गुपचुप तरीके से एक नया कारोबार शुरू हो गया है। सशर्त लाभ के इस व्यवसाय के केंद्र में दुल्हन है। जो दुल्हन पैसे लेकर शादी करती है, दहेज लेती है और फिर शादी के बाद मौका पाकर लाखों के गहने और नकदी लेकर फरार हो जाती है. ऐसा ही एक और मामला सामने आया है। जयपुर के विश्वकर्मा थाना इलाके में 30 साल का दूल्हा अब पुलिस थाने के चक्कर लगा रहा है। 23 जून को उसकी शादी हुई और 1 जुलाई को दुल्हन फरार हो गई। इस पूरे मामले में दूल्हे पक्ष की ओर से सात दिनों में करीब 18 लाख रुपये खर्च किए गए। यानि हर दिन दुल्हन को करीब ढाई लाख रुपए मिलते थे और सबसे बड़ी बात ये है कि इसके बाद भी दूल्हा कुंवारा रह गया।
विश्वकर्मा पुलिस ने बताया कि इलाके में रहने वाले 30 साल के रामलाल की शादी पश्चिम बंगाल में रहने वाली सुष्मिता से हुई थी। दलालों ने लड़की को करीब साढ़े तीन लाख रुपये दिलवाए। उसके बाद शादी कर ली। पत्नी सात दिन तक घर पर ही रही। इसके बाद एक जुलाई की रात दो बजे के बाद वह घर से फरार हो गयी। सात दिनों के दौरान वह चार लाख रुपये के आभूषण और 50 हजार रुपये नकद लेकर फरार हो गयी। रामलाल के परिवार ने मुरलीपुरा इलाके में एक लॉन लिया और वहीं शादी कर दी. इस धूमधाम से हुई शादी में करीब दस लाख रुपए खर्च हुए थे। लेकिन सात दिन के अंदर ही सब कुछ बर्बाद हो गया। इस मामले में विश्वकर्मा पुलिस ने दुल्हन राजेश कंवर, राकेश, अंजलि व अन्य के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
जयपुर के इस मामले के अलावा अगर राजस्थान में दो साल में दर्ज हुए मामलों की बात करें तो प्रदेश भर में दूल्हों द्वारा डेढ़ सौ से ज्यादा मामले दर्ज कराए गए हैं। पुलिस अधिकारियों के मुताबिक, हर शादी का औसत खर्च निकाला जाए तो करीब सात लाख रुपये का खर्च आता है। इसमें दुल्हनों को दिए गए पैसे और शादी का खर्च शामिल है। यानी दो साल के दौरान दूल्हों की ओर से करीब दस करोड़ रुपये खर्च किए जा चुके हैं और फिर भी वे कुंवारे ही बने हुए हैं। जयपुर के अलावा राजस्थान के बीस जिले ऐसे हैं जिनमें लुटेरी दुल्हनों के तीन से ज्यादा मामले दर्ज हो चुके हैं। सबसे ज्यादा मामले जयपुर, जोधपुर, गंगानगर, हनुमानगढ़, भरतपुर, अजमेर, नागौर, सीकर, चूरू, उदयपुर, बांसवाड़ा, डूंगरपुर समेत अन्य जिलों से सामने आए हैं।
हाल ही में भरतपुर पुलिस ने एक दुल्हन को पकड़ा। पता चला कि वह महाराष्ट्र की रहने वाली है। वह पहले से ही शादीशुदा है लेकिन पति ने उसे छोड़ दिया। उसकी सहेली ने राजस्थान में शादियां कराने वाले एक युवक से संपर्क किया। उसने शादीशुदा महिला पूजा को अपने गैंग में शामिल किया। हर दिन दस हजार रुपये तक देने के नाम पर उसने तीन शादियां कराईं। इन शादियों से उन्हें लाखों रुपए अलग से मिले। सौदा इस तरह होता था कि शादी के नाम पर नकली माता-पिता तैयार करके और दुल्हन की गरीबी दिखाकर चार से पांच लाख रुपये लिए जाते थे। ये पैसे दलाल ले लेता था और शादी होने के बाद घर में मौजूद सारे गहने और नकदी दुल्हन के हिस्से में आ जाते थे। ऐसे ही दर्जनों मामले सामने आ चुके हैं।