न्यूज़क्रेडिट: अमरउजाला
वाहनों को उनके दस्तावेजों के साथ एमवीआई द्वारा भौतिक रूप से निरीक्षण करना होता है लेकिन जांच में पता चला कि विभिन्न जिलों में अधिकारी एजेंटों और बिचौलियों की मिलीभगत से भारी रिश्वत के एवज में वाहनों के भौतिक सत्यापन के बिना फिटनेस प्रमाण पत्र जारी कर रहे थे।
पंजाब विजिलेंस ब्यूरो ने फिटनेस प्रमाण पत्र जारी करने में कथित अनियमितताओं के मामले में बुधवार को सात जिलों में छापे मारे। इस दौरान जालंधर में तैनात एक मोटर वाहन निरीक्षक और दो निजी एजेंटों को गिरफ्तार किया। आरोपियों के पास से 12.50 लाख रुपये की नकदी भी बरामद की है।
पंजाब विजिलेंस ब्यूरो के अधिकारी ने बताया कि कुछ क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीए) कार्यालयों से अनियमितताओं और भ्रष्टाचार की शिकायतें मिल रही थीं। इसके आधार पर मंगलवार को अमृतसर, गुरदासपुर, फिरोजपुर, फरीदकोट, मानसा, जालंधर और होशियारपुर में मोटर वाहन निरीक्षक (एमवीआई) कार्यालयों में औचक निरीक्षण किया।
तलाशी के दौरान, सतर्कता ब्यूरो की टीमों ने मोटर वाहन निरीक्षक और आरटीए कार्यालयों से वाहनों को संदिग्ध फिटनेस प्रमाण पत्र जारी करने से संबंधित रिकॉर्ड जब्त किए। वहीं जालंधर में विजिलेंस ब्यूरो की टीम ने मोटर वाहन निरीक्षक नरेश कलेर और दो एजेंट रामपाल व मोहन लाल को दबोचा।
विजिलेंस के प्रवक्ता ने कहा कि परिवहन विभाग के नियमों के अनुसार सभी वाणिज्यिक वाहनों को आरटीए कार्यालय से फिटनेस प्रमाण पत्र प्राप्त करना होता है और उन वाहनों को उनके दस्तावेजों के साथ एमवीआई द्वारा भौतिक रूप से निरीक्षण करना होता है लेकिन जांच में पता चला कि विभिन्न जिलों में अधिकारी एजेंटों और बिचौलियों की मिलीभगत से भारी रिश्वत के एवज में वाहनों के भौतिक सत्यापन के बिना फिटनेस प्रमाण पत्र जारी कर रहे थे।