
न्यूज़क्रेडिट: अमरउजाला
पंजाब पुलिस ने हरियाणा और उत्तराखंड पुलिस के साथ 48 घंटे के सर्च ऑपरेशन में युवक को सकुशल बरामद कर लिया। मामले में आरोपी एक महिला समेत तीन लोग गिरफ्तार कर लिए गए हैं।
पुलिस ने सोशल साइट्स पर हनी ट्रैप के माध्यम से रसूखदार लोगों को दोस्ती के चक्कर में फंसाकर अगवा करने और बाद में फिरौती लेकर छोड़ने के गिरोह का पर्दाफाश किया है। पुलिस ने महिला समेत तीन लोगों को हथियारों के साथ गिरफ्तार किया है। आरोपियों के पकड़े जाने से खरड़ की नामी यूनिवर्सिटी के अगवा किए इंजीनियरिंग के विद्यार्थी हितेश भमुला को भी पुलिस ने 48 घंटे में सुरक्षित रिकवर किया है। आरोपियों में अजय कादिया निवासी गांव जाटल पानीपत, अजय (22) निवासी सिरसा और राखी गांव बरौली पानीपत शामिल हैं। विद्यार्थी के परिजनों से फिरौती में 50 लाख रुपये की मांग की गई थी। डीआईजी एजीटीएफ कम रोपड़ रेंज गुरप्रीत सिंह भुल्लर ने प्रेस कांफ्रेंस में इसका खुलासा किया है। इस ऑपरेशन में हरियाणा और उत्तराखंड पुलिस का भी सहयोग रहा।
डीआईजी ने बताया कि हितेश के परिजनों से शिकायत मिली थी कि उनके बेटे को अगवा कर लिया गया है। अपहरणकर्ता उनसे 50 लाख रुपये की फिरौती की मांग कर रहे हैं। इसके बाद पुलिस ने तुरंत खरड़ थाने में केस दर्ज किया। साथ ही डीएसपी गुरशेर सिंह की अगुवाई में करीब सात टीमें गठित की। जो सोशल साइट समेत कई चीजों पर काम कर रही थीं। इसके बाद सीआईए कुरुक्षेत्र की टीम के साथ शुक्रवार सुबह आरोपी को पकड़ने और पीड़ित को बरामद करने में सफलता मिल गई। पीड़ित को खरड़ स्थित रनजीत नगर में एक फ्लैट पर बेहोशी की हालत से बरामद किया गया। पुलिस की जांच में सामने आया है कि आरोपी करीब तीन महीने से सक्रिय थे। उन्होंने दिल्ली के एक व्यक्ति को भी इस तरह हनी ट्रैप का शिकार बनाया था। पुलिस को उम्मीद है कि पूछताछ में कई अन्य मामले भी सामने आएंगे।
ऐसे चुनते थे अपना शिकार
एसएसपी मोहाली विवेकशील सोनी ने बताया कि आरोपी काफी शातिर थे। अजय और राखी लिव इन रिलेशनशिप में खरड़ में किराए के घर पर रहे थे। जबकि आरोपी अजय भी इनका साथी था। वह सोशल साइट्स इंस्टाग्राम, फेसबुक और अन्य साइटों पर फर्जी एकाउंट बनाकर रसूखदार लोगों की पहचान करते थे। इसके बाद राखी उनसे ऑनलाइन चैट करती थी। वहीं, सामने वाले व्यक्ति को उन पर संदेह न हो तो अजय इस सिलसिले को आगे बढ़ाता था। इस मामले में राखी ने पीड़ित से संपर्क होने के बाद उसे मिलने के पंजाब मॉल के पास बुलाया। वहां पर उसके साथ अजय था। इसके बाद उसने कहा कि वह इन हाउस पार्टी करेंगे। साथ ही पीड़ित को अपने साथ फ्लैट में ले गए। वहां पर उन्होंने उसे टीके व दवाएं देकर बेहोश किया। साथ ही उसके परिजनों से पैसे की मांग की।
मेडिकल लाइन से है, पुलिस को भी काफी समय उलझाया
पुलिस के मुताबिक, दोनों अजय मेडिकल की लाइन से है। एक अजय ने फार्मेसी की पढ़ाई की हुई, जबकि दूसरा अजय एमबीबीएस कर रहा है। ऐसे में उन्हें यह पता था कि कितनी डोज देकर व्यक्ति को बेहोश रखा जा सकता है। इतना ही नहीं, आरोपी पुलिस को भी उलझाने में लगे रहे। उन्होंने पीड़ित को खरड़ में रखा हुआ था लेकिन वह साफ कह रहे थे कि पैसे लेकर व्यक्ति हरिद्वार से ट्रेन में चढ़े।