भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार ड्रग इंस्पेक्टर बबलीन कौर को कोर्ट से मिली बड़ी राहत
चंडीगढ़। पठानकोट की ड्रग इंस्पेक्टर बबलीन कौर को कोर्ट से राहत मिली है उन्हें रिश्वत लेने के मामले में जमानत मिल गई है। बता दें अमृतसर विजिलेंस बार्डर के अंतर्गत आते 2 जिलों में बबलीन कौर बतौर ड्रग इंस्पेक्टर हैं। विजिलेंस टीम ने बबलीन को भ्रष्टाचार के मामले में गिरफ्तार कर आपराधिक मामला दर्ज किया था। मामले में कार्रवाई मुख्यमंत्री की एंटी करप्शन हेल्पलाइन पर मिली शिकायत के बाद की गई थी। इसके बाद आरोपी का अदालत से रिमांड लिया गया था जिसका समय समाप्त हो जाने के बाद अदालत ने विजेलेंस को और रिमांड न देते हुए बबलीन कौर को जेल भेजने के निर्देश दिए थे। महिला अधिकारी पर आरोप था कि उसने पठानकोट के मामून क्षेत्र में अरुण शर्मा नामक व्यक्ति को मैडीकल स्टोर का लाइसेंस बनाने के इंकार कर दिया था। जब शिकायतकर्ता ने इसकी वजह पूछी तो उसने कहा कि इस मामले में राकेश कुमार से बात कर ली जाए। इस काम के लिए एक लाख रुपए रिश्वत की मांग की थी।
लेकिन लाइसेंस लेने वाला अरुण शर्मा इतने पैसे देने को तैयार नहीं था। दूसरी तरफ कम पैसे पर लाइसेंस बनाने के लिए आरोपी तैयार नहीं थे तो आखिरकार थोड़ी रियायत करते हुए 90 हजार रुपए में सौदा हुआ था। इस रकम को 3 किस्तों में देना तय हुआ। शिकायतकर्ता ने इस मामले को लेकर एस.एस.पी. विजिलेंस वरिंदर सिंह संधू को जानकारी दे दी। वायदे के मुताबिक पहली किस्त के तौर पर 30 हजार रुपए राकेश कुमार नामक वर्कर को अदा करने थे। यह वर्कर महिला ड्रग इंस्पेक्टर का परिचित था और कभी उसके साथ काम भी कर चुका था। शिकायतकर्ता ने जब कर्मचारी राकेश कुमार को 30 हजार रुपए रिश्वत की रकम दी तो विजिलेंस टीम ने ट्रैप लगाकर रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। इसी दौरान आरोपी ने विजिलेंस टीम को बताया कि यह रकम उसने इंस्पेक्टर बबलीन कौर के कहने के मुताबिक ली थी, जिसके प्रमाण विजिलेंस को मिल चुके थे।